हर्षराज गुप्ता, खरगोन। मध्यप्रदेश के खरगोन जिले के बड़वाह स्थित ओखला गांव में प्राचीन हनुमान मंदिर ‘ओखलेश्वर धाम’ (Okhleshwar Dham) के एक वीडियो ने सोशल मीडिया पर सनसनी मचा दी है। वायरल वीडियो में ‘भगवान हनुमान’ (Lord Hanuman) पलक झपकाते हुए दिख रहे हैं। मंदिर में मौजूद भक्तों ने इसे कैमरे में कैद कर लिया। श्रद्धालु इस घटना को चमत्कार मान रहे हैं। वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है।
भक्तों ने कहा कि ऐतिहासिक हनुमान मंदिर ओखलेश्वर धाम में रोहणी नक्षत्र में चोला श्रंगार का कार्यक्रम चल रहा था। चोला श्रृंगार के दौरान भगवान हनुमानजी की मूर्ति की पलक झपकने का चमत्कार दिखा। भक्तों ने कहा कि भले ही लोग इसे अंधविश्वास कहे लेकिन भगवान हनुमान जी की मूर्ति के पलक झपकने की तस्वीर, विडियो कैमरे में कैद हो गई है। इस पल का गवाह सिर्फ एक या दो व्यक्ति ही नहीं बल्कि सैकड़ों श्रद्धालु बने। अद्भुत चमत्कार को लेकर श्रद्धालु और पुजारी हनुमानजी का चमत्कार मान रहे है।
साल भर में 13 बार होता है चोला श्रृंगार
दरअसल प्रचीन और ऐतिहासिक ओखलेश्वर धाम हनुमान मंदिर में हर माह रोहणी नक्षत्र में 27वें दिन भगवान का चोला श्रंगार होता है। एक साल में हनुमान जयंति सहित कुल 13 बार चोला श्रृंगार किया जाता है। श्रंगार के दौरान हजारो श्रदालुओ की भीड़ उमड़ती है। शनिवार देर शाम भगवान हनुमान जी की मूर्ति का चोला श्रृंगार किया जा रहा था। इसी दौरान संकटमोचन का पलक झपकाने का वीडियो कैमरे में कैद हो गया। पलक झपकने के चमत्कार ने उपस्थित श्रदालुओं को मंत्रमुग्ध कर दिया।
ओखलेश्वर धाम के हनुमान जी मंदिर में चमत्कार होते रहे हैंः भक्त
मंदिर के पुजारी सहित मौजूद श्रद्धालु भगवान का चमत्कार मान रहे है। आस्था और अंधविश्वास के बीच कई श्रद्धालुओं ने हनुमान जी की मूर्ति की पलक झपकने का विडियो अपने मोबाइल में कैद कर लिया है। श्रद्धालुओं का कहना है की ओखलेश्वर धाम के हनुमान जी मंदिर में चमत्कार होते रहे हैं। आज का चमत्कार तो हमारे मोबाइल में कैद हो गया है। यहां दर्शन मात्र से हर मनोकामना पूरी हो जाती है। पुजारी सहित मंदिर में मौजूद श्रदालुओं ने भगवान की मूर्ति ने चमत्कार बताया। गौरतलब है की चोला श्रंगार के दिन हजारों श्रदालुओं का सैलाब उमड़ता है। भंडारे का भी आयोजन होता है।
10 फिट की हनुमान जी की प्रतिमा के हाथ में शिवलिंग
बड़वाह से 31 किमी ओखलेश्वर धाम में हनुमान जी की 10 फिट ऊंची हाथों में शिवलिंग लिए अनूठी प्रतिमा है। हनुमान जी की प्रतिमा दुर्लभ और अनूठी है क्योंकि इनके एक हाथ में शिवलिंग है, जबकि ज्यादातर मूर्तियों के हाथ में द्रोणागिरि पर्वत होता है। मान्यता है कि हनुमान जी जब रामेश्वरम शिवलिंग स्थापना के लिए लेकर जा रहे थे तो कुछ देर के लिए यहां रुके थे।
इस तरह हुई ओखलेश्वर धाम की स्थापना
कहा जाता है कि ब्रह्मलीन संत ओंकारदासजी महाराज ने पुष्कर के निकट वामदेव की गुफा में कठोर तपस्या की। इसके बाद शिव के आदेश से वे अखिलेश्वर मठ आए थे। उन्होंने ही वर्षों से जीर्णशीर्ण इस मंदिर को पुन: जागृत किया। हनुमान प्रकटोत्सव पर बजरंगबली का सहस्त्रधारा अभिषेक होता है। इस दौरान क्षेत्र ही नहीं विभिन्न राज्यों से दर्शन के लिए श्रद्धालु आते हैं।
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