रायपुर. अब से छत्तीसगढ़ में सिर्फ इन 15 सामानों पर ही ई-वे बिल लगेगा. जिसके लिए वाणिज्य कर विभाग द्वारा सूचना जारी कर दी गई है. मिली जानकारी के अनुसार अधिसूचना संख्या एफ-10-31 / 2018 / सीटी / वी (46) के अनुसार 15 सामानों को छोड़कर छत्तीसगढ़ राज्य में सामानों के इंट्रा स्टेट पल के लिए कोई ई वे बिल की आवश्यक नहीं है.
जिन 15 सामानों को ई वे बिल में शामिल किया गया है उसमें सब्जी,पान मसाला,तम्बाखू और तम्बाखू से बने उत्पात, फर्नीचर, सीमेंट सहित कई अन्य सामग्री शामिल है.
जो इस प्रकार है …
बता दें छत्तीसगढ़ सरकार ने 1 जून से वस्तुओं के अंतरराज्यीय आवाजाही के लिए सामान और सेवा कर (जीएसटी) के तहत ई-वे बिल लागू किया है. इस ई-वे बिल सिस्टम के तहत 50,000 रुपये से अधिक की वस्तुओं को ले जाने के दौरान ट्रांसपोर्टर द्वारा इलेक्ट्रॉनिक तरीके से बिल रखना जरूरी है. बिना बिल के माल भेजा गया तो जिस गाड़ी में माल जाएगा उस गाड़ी के साथ ही माल भी जब्त हो जाएगा. इसके अलावा माल भेजने और ट्रांसपोर्टर पर जुर्माना करने के साथ ही कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी.
क्या है ई-वे बिल
अगर किसी वस्तु का एक राज्य से दूसरे राज्य या फिर राज्य के भीतर मूवमेंट होता है तो सप्लायर को ई-वे बिल जनरेट करना होगा। अहम बात यह है कि सप्लायर के लिए यह बिल उन वस्तुओं के पारगमन (ट्रांजिट) के लिए भी बनाना जरूरी होगा जो जीएसटी के दायरे में नहीं आती हैं।
क्या होता है ई-वे बिल में
इस बिल में सप्लायर, ट्रांसपोर्ट और ग्राही (Recipients) की डिटेल दी जाती है। अगर जिस गुड्स का मूवमेंट एक राज्य से दूसरे राज्य या फिर एक ही राज्य के भीतर हो रहा है और उसकी कीमत 50,000 रुपए से ज्यादा है तो सप्लायर (आपूर्तिकर्ता) को इसकी जानकरी जीएसटीएन पोर्टल में दर्ज करानी होगी।
चेंबर ऑफ कामर्स के अध्यक्ष जितेन्द्र बरलोटा ने लल्लूराम डॉट कॉम से बात करते हुए वाणिज्य कर विभाग के इश फैसले का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि चेंबर इस बारे लगातार मांग कर रहा था, इस संबंध में वाणिज्य कर आयुक्त पी संगीता और मंत्री अमर अग्रवाल से मिलकर भी मांग की थी. अब उनकी मांग पूरी होने पर चेंबर अध्यक्ष बरलोटा ने खुशी जताई है.