रायपुर। छत्तीसगढ़ के शासकीय एवं प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस और सभी विभिन्न चिकित्सा कोर्स में मूल निवासी प्रमाण पत्र के माध्यम से बाहरी राज्यों के छात्रों को एडमिशन दे दिया गया. इस मामले को लेकर आज इंडियन मेडिकल एसोसिएशन का प्रतिनिधिमंडल चयनित नीट के विद्यार्थियों के पालकों के साथ मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से रायपुर उत्तर विधायक कुलदीप जुनेजा के साथ मुलाकात की. मुख्यमंत्री ने एक लाइन में कहा कि छत्तीसगढ़ के एक भी छात्र का अहित नहीं होना चाहिए.

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सिलसिलेवार पालकों द्वारा सार्थक तर्कों सहित कागजातों का सूक्ष्मता से निरीक्षण किया और प्रतिनिधिमंडल को यह आश्वासन दिया है कि छत्तीसगढ़ी मूलनिवासी छात्रों का हित सभी प्रकार से उनकी सरकार संरक्षित करने के लिए कटिबद्ध है. मुख्यमंत्री ने अतिरिक्त मुख्य सचिव सुब्रत साहू को चयनित छात्रों के मूल दस्तावेज परीक्षण करने के लिए अतिरिक्त मुख्य सचिव स्वास्थ्य रेणु पिल्ले, संचालक चिकित्सा शिक्षा डॉ आर के सिंह और नीट काउंसलिंग कमेटी के अध्यक्ष डॉ. विनीत जैन से एक पारदर्शी शिकायत एवं जांच प्रणाली विकसित कर यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि कई राज्यों में एडमिशन लिए छात्रों की शिकायत प्राप्त होने पर हर स्तर पर उनके प्रमाण पत्र की कड़ाई से जांच की जाए. यह सुनिश्चित किया जाए कि जिन लोगों ने प्रमाण पत्र जमा करते समय धोखाधड़ी की कोशिश की है उनके खिलाफ हर संभव कानूनी कार्रवाई की जाए.

बातचीत के बाद सुब्रत साहू ने नीट काउंसलिंग कमिटी के अध्यक्ष डॉ विनीत जैन को मुख्यमंत्री निवास तलब कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए हैं. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देशों के बाद कल दोपहर 2 बजे संचालक चिकित्सा शिक्षा डॉ. आर के सिंह और नीट काउंसलिंग टीम के अध्यक्ष डॉ विनीत जैन के साथ पालकों और इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के पदाधिकारियों की टीम विचार विमर्श कर एक कार्यप्रणाली विकसित करेगी. जिससे वर्तमान गाइडलाइन में कानूनी दायरे में रहते हुए आवश्यक परिवर्तन करके छात्रों को न्याय संगत भर्ती प्रक्रिया देने का हर संभव प्रयास करें.

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के पदाधिकारियों डॉ अनिल जैन के साथ डॉ रवि कांत चौबे, डॉक्टर रूपल पुरोहित, डॉक्टर आरिफ मेमन, डॉ कुलदीप सोलंकी सहित छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस चिकित्सा प्रकोष्ठ एवं हॉस्पिटल बोर्ड अध्यक्ष डॉ राकेश गुप्ता बातचीत और निर्देशों के दौरान उपस्थित रहे. मुख्यमंत्री से बातचीत के दौरान पालकों और आईएमए में पदाधिकारियों ने कई दस्तावेजों के माध्यम से संभावित फर्जी एडमिशन होने की जानकारी दी है. कल आम सहमति बनने के बाद पूरी संभावित भर्ती प्रक्रिया से मुख्यमंत्री निवास के अतिरिक्त मुख्य सचिव सुब्रत साहू को अवगत कराया जाएगा. ताकि आगे की कार्रवाई तुरंत सुनिश्चित की जा सके. इस पर आम सहमति बनने के आसार हैं कि शिकायत प्राप्त होने पर संबंधित जिले के कलेक्टर से प्रमाण पत्रों की जांच कराई जा सकती है.

मुख्यमंत्री के साथ विस्तृत बातचीत के दौरान स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंह देव लोक निर्माण गृह और जेल मंत्री ताम्रध्वज साहू कृषि मंत्री रविंद्र चौबे सहित मुख्यमंत्री सचिवालय के अतिरिक्त मुख्य सचिव सुब्रत साहू उपस्थित थे.