जोधपुर। जिले में हुई वकील के हत्या के बाद प्रदेश के सभी वकील एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट की मांग कर रहे हैं। जिसे लेकर आज हाईकोर्ट में भी सुनवाई हुई। इस दौरान उच्च न्यायालय ने नाराजगी जताते हुए कहा कि वकील कार्य का बहिष्कार नहीं कर सकते।

बता दें कि इस मामले में हाईकोर्ट के कार्यकारी चीफ जस्टिस एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस विजय विश्नोई की खंडपीठ ने सुनवाई की। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने हरीश उप्पल केस का हवाला दिया।

अब बार काउंसिल ऑफ इंडिया के चेयरमैन मनन मिश्रा ने सभी बार एसोसिएशन से बात करके समाधान निकालने तीन दिन का समय मांगा है। मनन मिश्र ने कोर्ट से यह निवेदन भी किया कि अब नोटिस जारी नहीं किया जाए।

इस मामले में बार काउंसिल ऑफ राजस्थान के वाइस चेयरमैन बलजिंदर सिंह ने कहा कि आपसी समझौते से कोई हल निकले तो बेहत है। महाधिवक्ता एमएस सिंघवी, ASG RD रस्तोगी ने भी कोर्ट में अपना पक्ष रखा। अब इस मामले में अगल सुनवाई 9 मार्च को की जाएगी।

बता दें कि राजस्थान सरकार की ओर से पैरवी कर रहे एडवोकेट प्रहलाद शर्मा का कहना है कि एडवोकेट प्रोटेक्शन बिल को स्थापित करने के लिए एक कमेटी का गठन किया जाएगा।

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