रायपुर। जिनके उपर नौनिहलों को उचित पोषण देने की जिम्मेदारी है,वो हाथ आज थाली बजाकर अपनी आवाज सरकार तक पहुंचाना की कोशिश कर रही हैं। आरोप है कि सरकार को नींद से जगाने का इनके पास और कोइ रास्ता नहीं बचा है, ”सरकार गूंगी बहरी है, सरकार को हमारी हमारी मजबूरियां ना तो दिखाई देती है,और ना ही सुनाई देती है। पिछले सात सालों से हम लगातार अपनी जायज मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं पर कभी भी हमारी मांगों पर ध्यान नहीं देती है।”
ये कहना है छत्तीसगढ़ की आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का जो 3अक्टुबर से 10अक्टुबर तक धरने पर रहेंगी. इनका कहना है कि इनके शब्दों में ये प्रदर्शन सरकार के लिए आखिरी चेतावनी है। जिसके बाद भी अगर सरकार नहीं मानती है तो आंदोलन और भी उग्र होगा।
आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की प्रमुख मांग वेतनमान में वद्धि और पेंशन को लेकर है। इनका कहना है कि महाराष्ट्र समेत कई राज्यों में ना केवल आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को उचित वेतनमान दिया जाता है बल्कि पेंशन भी मिलती है। इस तरह की व्यवस्था छत्तीसगढ में भी होनी चाहिए…और भी कइ अन्य मांगों को लेकर कार्यकर्ता हड़ताल पर हैं।