पंजाब में कल 18 सितंबर शानिवार को मुख्‍यमंत्री कैप्‍टन अमरिंदर सिंह के इस्‍तीफे के घटनाक्रम के बीच राजस्‍थान के मुख्‍यमंत्री अशोक गहलोत के एक ऑफिसर ऑन स्‍पेशल ड्यूटी (ओसडी) को एक ट्वीट करने से एक विवाद बढ़ गया. मुख्‍यमंत्री अशोक गहलोत के ओएसडी लोकेश शर्मा ने विवाद के बीच अपना इस्‍तीफा उन्‍हें भेज दिया है. इस पत्र में ओएसडी लोकेश शर्मा ने अपनी सफाई भी रखी है.

  पिछले काफी लंबे समय से राजस्थान के पूर्व उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस के दिग्गज नेता सचिन पायलट का खेमा मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को हटाकर सत्ता पर काबिज होना चाहता है. इसी बीच मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के ओएसडी लोकेश शर्मा का एक ट्वीट इस समय चर्चा का विषय बना हुआ है. कहा जा रहा है कि पंजाब (Punjab) में मुख्यमंत्री बदले जाने के बाद अब राजस्थान (Rajasthan) में भी सियासी सुगबुगाहट शुरू हो गई है.

दरअसल, गहलोत के ओएसडी लोकेश शर्मा ने एक ट्वीट में लिखा की “मजबूत को मजबूर, मामूली को मगरूर किया जाए. बाड़ ही खेत को खाए, उस फसल को कौन बचाए”. लोकेश शर्मा के ट्वीट (tweet) के बाद राजस्थान में भी सत्ता परिवर्तन को लेकर सियासी सुगबुगाहट तेज हो गई है. हालांकि यह सब अभी संभावनाएं हैं और स्पष्ट तौर पर कुछ नहीं कहा जा सकता है.

क्या लिखा है इस्तीफे में  ?

लोकेश शर्मा ने अपने इस्तीफे में लिखा कि आदरणीय मुख्यमंत्री जी, राजस्थान. आज दिन में मेरे द्वारा किये गए द्वीट को राजनैतिक रंग देते हुए, गलत अर्थ निकालकर पंजाब के घटनाक्रम से जोड़ा जा रहा है. निवेदन है कि वर्ष 2010 से मैं ट्विटर पर सक्रिय हूं और मैंने आज तक पार्टी लाइन से अलग, कांग्रेस के किसी भी छोटे से लेकर बड़े नेता के संबंध में और प्रदेश की कांग्रेस सरकार को लेकर कभी कोई ऐसे शब्द नहीं लिखे हैं, जिन्हें गलत कहा जा सके.आपके द्वारा ओएसडी की जिम्मेदारी देने के बाद से मेरी सीमाओं और मर्यादाओं का ध्यान रखते हुए कभी कोई राजनैतिक द्वीट नहीं किया. मैंने हमेशा राज्य सरकार और मुख्यमंत्री की बात, सरकार के फैसले, जनकल्याणकारी योजनाओं और सरकार की सकारात्मक मंशा को ही आगे बढ़ाने का प्रयास किया और सरकार के कार्यकलाप और सरकार के साथ मुख्यमंत्री की छवि को धूमिल करने वाले लोगों को तथ्यों के साथ जवाब देकर उनके द्वारा फैलाए जाने वाले भ्रामक प्रचार को रोकने का प्रयास किया.