रायपुर। प्रदेश भर के आर्युवेद और युनानी चिकित्सकों को लोगों का एलोपैथी पद्धति से चिकित्सा का अधिकार मिल गया है. इस संंबंध में आज राज्य सरकार ने आदेश जारी कर दिया गया है. इस बात की जानकारी आयुर्वेद चिकित्सा संघ के अध्यक्ष शिव नारायण द्विवेदी ने दी. उन्होंने बताया कि इस संबंध में सरकार से लंबे समय से मांग की जा रही थी. जिसे सरकार ने पूरा कर दिया है.
इस व्यवस्था को लागू करने वाला छत्तीसगढ़ देश का दूसरा राज्य बन गया है. इससे पहले महाराष्ट्र में ये लागू है. शिव नारायण द्विवेदी का कहना है कि पिछले दिनों झोलाछाप डॉक्टरों पर कार्रवाई के दौरान कई आयुर्वेद के डॉक्टरों को निशाना बनाया गया था जिसके बाद आयुर्वेद के डॉक्टरों ने इसकी शिकायत शासन से की थी और उन्हें एलोपैथी प्रैक्टिस करने की अनुमति देने की मांग की थी. जिसके बाद सरकार ने ये निर्णय किया है.
द्विवेदी का कहना है कि आयुर्वेद का डॉक्टर एलोपैथी की भी पढ़ाई करता है. आयुर्वेद डॉक्टर अपने 1 साल की इंटर्नशिप में से छै महीने एलोपैथी अस्पताल में करता है. हांलाकि आयुर्वेद के डॉक्टर ऑपरेशन नहीं कर पाएंगे. गंभीर बिमारियों का इलाज नहीं कर पाएंगे.