प्रयागराज। माफिया डॉन अतीक अहमद के बेटे असद के एनकाउंटर के बाद कई बड़े खुलासे हो रहे हैं. बताया जा रहा है कि असद अपने पिता अतीक के काफिले पर हमला कर पुलिस में दहशत पैदा करना चाहता था. इसका मंतर जेल में बंद उसके चाचा अशरफ ने दी थी, क्योंकि इस बात का पता थी कि हमला करने पर कहीं न कहीं पुलिस बैकफुट पर जाएगी. 

यूपी STF ने 3 अप्रैल को झांसी में उमेश पाल हत्याकांड में नामजद आरोपी असद और गुलाम को इनकाउंटर में मौत के घाट उतार दिया था. यह वाकया तब हुआ, जब अतीक और उसके भाई अशरफ की प्रयागराज की सीजेएम अदालत में पेशी हो रही थी. सूत्रों के अनुसार, असद अपने पिता अतीक को ले जा रहे पुलिस काफिले पर हमला करना चाहता था. अपने इस मंसूबे पर असद कामयाब हो पाता, इसके पहले ही पुलिस ने उसे जमींदोज कर दिया.

यही नहीं इस इनकाउंटर की दूसरी सबसे बड़ी वजह असद को अपने जिगर का टुकड़ा मानने वाला उसका चाचा अशरफ था, जिसने पुलिस अधिकारियों से हत्याकांड के 3 शूटरों को पुलिस के हवाले करने का वादा किया था. लेकिन वह अपने वायदे से मुकर गया और पुलिस को चकमा देकर शूटरों को बचाता रहा.

पुलिस सूत्रों की मानें तो अतीक के छोटे भाई अशरफ ने पुलिस अधिकारियों से यह वादा उमेश पाल अपहरण कांड में पेशी पर जाने के दौरान किया था. लेकिन जब ही अदालत ने उसे दोषी करार नहीं दिया तो वह अपने वादे से पलट गया. अशरफ पुलिस को झांसा देकर असद और अन्य शूटर को बचाने की कोशिश कर रहा था. इसके बाद एसटीएफ ने उमेश पाल के शूटरों को ढूंढने में पूरी ताकत लगा दी.

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