रायपुर। छत्तीसगढ़ में सियासी घमासान मचा हुआ है. विधायक बृहस्पत सिंह और स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव विवाद मामले में सियासी दंगल जारी है. मंत्री सिंहदेव की नाराजगी अब साफ बाहर आने लगी है. इसी कड़ी में सीएम भूपेश बघेल के बंगले में मंत्री और विधायकों की मीटिंग चल रही थी, जो अब खत्म हो गई गई है. मीटिंग में कई मंत्री और विधायक शामिल हुए थे, जिसमें से मंत्री रूद्र गुरु बैठक से बाहर निकल गए हैं. बैठक में मंत्रियों के निकलने का सिलसिला शुरू हो गया है.

मुख्यमंत्री निवास में मंत्री परिषद की आपात बैठक बुलाई गई थी. बैठक में शामिल होने के लिए मंत्री मो. अकबर, गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू, मंत्री रुद्र गुरु, मंत्री जयसिंह अग्रवाल, मंत्री रविन्द्र चौबे सहित कई मंत्री पहुंचे हैं. साथ ही एक साथ CM हाउस में कई विधायक पहुंचे थे. बैठक में विधायक बृहस्पत सिंह भी शामिल हुए थे.

बता दें कि बृहस्पत सिंह ने कहा था कि वो महाराजा हैं, मेरी हत्या करा सकते हैं. हत्या कराने से अगर सिंहदेव मुख्यमंत्री बन सकते हैं तो उन्हें ये पद मुबारक़ हो. मंत्री सिंहदेव कांग्रेस विधायकों का अपमान करते हैं. उन्होंने कहा था कि ऐसे मंत्री को पद पर रहने का अधिकार नहीं है. हालांकि विधायक की बैठक के बाद मंत्री टीएस सिंहदेव और विधायक बृहस्पत सिंह एक साथ नजर आए थे.

विधानसभा सत्र के दूसरे दिन टीएस सिंहदेव विधानसभा में अपनी बात कहकर बाहर निकल गए थे. इसके बाद 10 मिनट के लिए सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई थी. इसके बाद शुरू हुई कार्यवाही के बाद बृहस्पति सिंह मामले में विपक्षी सदस्यों ने सदन की कमेटी बनाकर जांच की मांग की और विपक्षी सदस्य गर्भगृह उतरे.

इसी बीच सदन में हंगामा जारी रहा और फिर भारी हंगामे के बीच सदन की कार्यवाही कल तक के लिए स्थगित कर दी गई. सिंह देव ने सदन में कहा था कि –

 मैं भी एक इंसान हूं मेरे चरित्र के बारे में सब जानते हैं. शायद कुछ छिपा हुआ है जिसे अब सामने लाने की कोशिश की जा रही है.  मैं नहीं समझता हूं कि मेरी स्थिति ऐसी है कि जब तक शासन की ओर से इस पर स्पष्ट जवाब ना आ जाए मैं इस पवित्र सदन में रहना उचित नहीं समझता.

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