अभिषेक सेमर, तखतपुर। छत्तीसगढ़ के तखतपुर से एक चौंकाने वाली खबर सामने आई है, जहां अधिकारी सरकारी आवास कागजों में बना दिख रहा, लेकिन असल में कोई मकान ही नहीं बना है। नगर पालिका अधिकारी के सरकारी आवास के निर्माण पर कागजों में लाखों रुपये खर्च दिखाए गए हैं। मौके पर दो आवास बनाए जाने थे, लेकिन वास्तविकता में केवल एक ही नजर आ रहा है। दूसरा निर्माणाधीन आवास जमीन समेत गायब होने से हड़कंप मच गया है। सीएमओ और इंजीनियर की टीम अब पतासाजी में पसीना बहा रही है। बड़ा सवाल है कि आखिर कहां गायब हो गया यह सरकारी भवन?

बता दें कि नगर पालिका तखतपुर के सीएमओ और इंजीनियर के लिए दो सरकारी आवास बनना था, जिसमें नगर पालिका ने अपनी आरक्षित भूमि पर निर्माण शुरू करवाया, लेकिन किन्हीं कारणों से वह निर्माण पूरा नहीं हो सका, लेकिन बिल्डिंग आधी-अधूरी स्थिति में बनकर तैयार हुई। देखते ही देखते कुछ कानूनी पचड़ों के कारण वह बिल्डिंग अधूरी रह गई और फाइल पर खर्च दिखाकर उस फाइल को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया, लेकिन अचानक ऐसा क्या हुआ कि एक भवन वहां से गायब हो गया और इसकी भनक तक किसी को नहीं लगी।


आखिर माजरा क्या है, यह और भी दिलचस्प हो चुका है। वहां ना तो कोई दीवार है और ना कोई छत, ना खाली मैदान। आखिर भवन गया तो कहां गया? कागजों में अधिकारियों ने बजट भी पास किया, कार्यादेश भी निकला, ठेकेदार का नाम भी दर्ज है, लेकिन मौके पर निर्माणाधीन दो आवास में से एक आवास की जमीन पर भवन की कोई परछाई भी नहीं है। लिहाजा नगर पालिका के इंजीनियर और सीएमओ जगह-जगह छानबीन कर रहे हैं। अधिकारी आवास जैसा गायब हो गया है। सरकारी भवन की ये गायबी सिर्फ लापरवाही नहीं, एक बड़ा सवाल खड़ा कर रही है। क्या ये मामला फर्जी निर्माण का है या फिर सरकारी धन की सीधे-सीधे चोरी है।
इस मामले में मुख्य नगर पालिका अधिकारी अमरेश सिंह ने कहा कि मेरी ज्वाइनिंग 31 दिसंबर को हुआ है। मेरे आने से पहले नगर पालिका के पीछे सीएमओ और इंजीनियर आवास बना हुआ है। नगर पालिका के सामने एक बनता हुआ अधूरा कंस्ट्रक्शन दिखता है, जिसके बारे में अपने कर्मचारियों से बात की तो पता चला कि सीएमओ इंजीनियर आवास बन रहा था उसमें कोर्ट का स्टे है, फिर कर्मचारियों से पूछा उससे संबंधित फाइल कहां है जिसका मैं अवलोकन करूंगा। यदि शासकीय जमीन पर बन रहा था तो स्टे किस चीज का है, जिसका मैं अध्ययन करूंगा लेकिन वह दस्तावेज नगर पालिका कार्यालय में उपलब्ध नहीं है, इसलिए मेरी जानकारी से परे है कि उस निर्माणाधीन आवास में किस चीज का स्टे है, वह निर्माण क्यों अधूरा है।
दोषियों पर कानूनी कार्रवाई होगी : सीएमओ
इस मामले में सीएमओ अमरेश सिंह ने कहा कि मुझे जानकारी नहीं है। मै जब से तखतपुर आया हूं तब से एक ही आवास देख रहा हूं। जल्द ही इस मामले से जुड़े दस्तावेज का अवलोकन करूंगा। अगर इसमें किसी व्यक्ति द्वारा निर्माणाधीन शासकीय आवास को नुकसान पहुंचाया गया होगा तो सीधे कानूनी कार्रवाई होगी।
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