CG News : पुरुषोत्तम पात्र, गरियाबंद. फिंगेश्वर विकासखंड में ग्राम पंचायत भेन्डरी के आश्रित ग्राम सरगोड़ के सूखा तालाब में मुरम का अवैध खनन जोरों पर चल रहा है. राजनीतिक रसूख प्राप्त माफिया चेन माउंटेन और पोकलेन के साथ तालाब में बीते 15 दिनों से अवैध खनन कर रहे हैं. गांव के कुछ तथाकथित प्रमुखों ने ग्रामीणों को तालाब चौड़ी करण के फायदे दिखाया. फिर उनसे महीने भर खनन के लिए 20 हजार रुपए में सार्वजनिक सौदा किया. ग्रामीणों को केवल 20 हजार की जानकारी है, जबकि कथित प्रमुखों ने लाखों का सौदा किया है.

पर्दे के पीछे हुए सौदे की भनक लगी तो ग्रामीणों ने खुदाई का विरोध किया. जिसके चलते खनन रात के अंधेरे में जारी है. खनन माफिया गुर्गे और लठैत रखते है, इसलिए कोई खुल कर विरोध नहीं कर रहा है. रोजाना 50 से 60 हाइवा मुरम सप्लाई में लगे हैं. अवैध खनन की सूचना पर 5 अगस्त को खनिज विभाग की टीम पहुंची थी लेकिन बिना कार्रवाई के ही बैरंग लौट गई थी. तब से लेकर आज तक कोई भी जिम्मेदार यहां झांकने तक नहीं आया.

पंचायत से नहीं ली अनुमति, सरपंच-ग्रामीणों की सहमति से हो रहा खनन
तालाब से मुरम निकालने की कोई वैध अनुमति नही है और ना ही पंचायत को इसकी जानकारी दी गई है. मामले में सरपंच चुम्मन लाल सिन्हा ने कहा कि पंचायत से कोई अनुमति नहीं ली गई. लेकिन पंचायत से मुरम भरी हाइवा निकली तो पता चला कि गांव वालों को चौड़ी और गहरी तालाब की जरूरत है. बताया जा रहा है कि तालाब गहरीकरण के लिए ही ग्रामीणों ने सहमति दिया है. इस अवैध खनन में पंचायत की कोई भूमिका नहीं है.
टास्क फोर्स की मौन स्वीकृति

राजिम-नयापारा में एक हाइवा मुरम 10-15 हजार रुपये में खपा रहा है. इस हिसाब से रॉयल्टी व जीएसटी की चोरी कर माफिया रोजाना लाखों का खेल कर रहे हैं. गाड़ियां फिंगेश्वर थाना व तहसील के ठीक सामने से होकर गुजर रही है, गाड़ियों की चेकिंग तक नहीं हो रही है. कलेक्टर ने अवैध खनन रोकने स्पेशल टीम बनाई है. लेकिन धड़ल्ले से चल रहे इस अवैध खनन को रोकने टीम में रुचि नजर नहीं आ रही है. ऐसे में खनिज विभाग के साथ साथ प्रसाशन की मंशा पर सवाल खड़े हो रहे हैं.
सड़के और खेत बर्बाद कर रहे

राजनीति रसूखदार लोग गांव वालों को डराकर अवैध काम को अंजाम दे रहा है. एक साल पहले ही माफिया ने गांव में अवैध भण्डारण किया था. गांव की सड़को से सैकड़ो हाईवा रेत का अवैध परिवहन किया. इस कारण डामर की सड़के पूरी तरह उखड़ चुकी है. सड़कों की स्थिति यह है कि यहां से होकर गुजरना भी मुश्किल हो गया है.
किसानों के खेत के बीच से बनाया रास्ता

माफिया का हौसला इतने बुलंद हैं कि किसानों के खेतो को पाटकर मुरम का कारोबार किया जा रहा है. रसूखदारी के डर से किसान इसका खुलकर विरोध भी नहीं कर पा रहे हैं. जिस खेत में धान की बुआई की गई है, उसी खेत के बीच से हाइवा निकाला जा रहा है.
कलेक्टर ने क्या कहा ?
जिले के कलेक्टर गरियाबंद भगवान सिंह उइके ने कहा कि अवैध खनन की जानकारी या शिकायत नहीं आई है. टीम बनाई गई है, दिखवाता हूं, आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.
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