रमेश बत्रा ,तिल्दा नेवरा.नगर पालिका परिषद् तिल्दा में उस वक़्त विवाद शुरू हो गया, जब छत्तीसगढ़ शासन द्वारा नियुक्त कार्यकारी अध्यक्ष ईश्वर यदु नियुक्तिपत्र लेकर अध्यक्ष पद का कार्यभार संभालने परिषद् पहुंचे. क्योंकि परिषद् में राज्य सरकार द्वारा शून्य घोषित हो चुके पालिकाध्यक्ष महेश अग्रवाल हाईकोर्ट द्वारा जारी आदेशपत्र लेकर पहुंच गये. जिसके अनुसार मामले की सुनवाई होने तक परिषद् का कार्यभार एसडीएम को संभालने की बात कही गई है.
तिल्दा शहर भाजपा के कार्यकर्ता ईश्वर यदु के कार्यकारी अध्यक्ष चुने जाने की खुशी में फुले नहीं समाये और पूरी धूमधाम के साथ कार्यकारी अध्यक्ष की ताजपोशी के लिए पालिका परिषद् पहुचे. लेकिन उनकी खुशी का रंग उस समय फीका पड़ गया, जब अध्यक्ष महेश अग्रवाल अपने समर्थकों के साथ परिषद् पहुंचे और सीएमओ राजेंद्र पात्रे को हाईकोर्ट द्वारा जारी आदेशपत्र सौपा.
जिसके अनुसार अध्यक्ष पद विवाद मामले की अगली सुनवाई होने तक परिषद् का कार्यभार एसडीएम को संभालने की बात कही गई है. अध्यक्ष महेश अग्रवाल ने ईश्वर यदु को कार्यकारी अध्यक्ष पद सौंपने का विरोध करते हुए इसे उच्चन्यायलय की अवमानना करार दिया.
वही दूसरी तरफ ईश्वर यदु ने राज्य सरकार द्वारा जारी नियुक्तिपत्र दिखाते हुए कहा की उनको तिल्दा नगरपालिका अध्यक्ष महेश अग्रवाल को राज्य सरकार शून्य घोषित कर चुकी है और उन्हें कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया जा चुका है, ऐसे में उन्हें कार्यभार सौंपा जाये.
परिषद् में दोनों अध्यक्षों के बीच विवाद गहराता देख सीएमओ राजेंद्र पात्रे ने पुलिस बल की सहायता ली और मामले को सुलझाने की कोशिश की. लेकिन दोनों में से कोई भी मानने को तैयार नहीं हुआ. विवाद बढ़ता देख सीएमओ ने उच्च अधिकारीयों से बात की और उनसे लिखित में मार्गदर्शन मांगा है.