वीरेंद्र गहवई,बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के आईटीआई (ITI) में पदस्थ 723 प्रशिक्षण अधिकारियों की नौकरी खतरे में है. 8 साल पहले अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित इन प्रशिक्षण अधिकारियों की नियुक्ति की गई थी. जिसके लिए विज्ञापन प्रकाशित भी किए गए थे. अब इन कर्मचारियों की भर्तियां निरस्त होने वाली है. इसके लिए कर्मचारियों को नोटिस जारी कर बताया गया है कि भर्ती के दौरान आरक्षण नियमों का पालन नहीं किया गया. जिसके चलते सभी कर्मचारियों को जवाब देने का कहा गया है.

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दरअसल आईटीआई (ITI) में वर्ष 2013 में फिटर, इलेक्ट्रीशियन, ड्राफ्ट्समैन, कारपेंटर सहित तमाम पदों पर अधिकारी और कर्मचारियों की भर्ती हुई थी. लेकिन नियुक्तियां विवादों में घिर गई और शिकायतें हुई. वहीं नियुक्ति में शामिल कर्मचारी प्रमोशन सहित अन्य मांग को लेकर कोर्ट पहुंच गए.

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न्यायालय से उनके पक्ष में आदेश भी आ गया. कोर्ट के आदेश का पालन हुआ या नहीं इस बारे में कर्मचारियों को जानकारी नहीं है. अब संचालनालय ने इस भर्ती को गलत बताकर अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है. नौकरी समाप्त करने का फरमान जारी करते हुए 15 दिनों के भीतर जवाब देने कहा है. इधर नोटिस मिलने के बाद ITI में पदस्थ सभी प्रशिक्षण अधिकारी लामबंद हो गए हैं. चरणबद्ध आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं.

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