रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल आज छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस के मौके पर आयरन और विटामिन से युक्त फोर्टिफाईड राइस वितरण की अभिनव योजना का शुभारंभ किया। भोजन में आवश्यक पोष्टिक तत्वों की पूर्ति और कुपोषण के नियंत्रण के लिए यह योजना राज्य के कोण्डागांव जिले में पायलट प्रोेजेक्ट के रूप में शुरू की गई है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने वर्ष 2020-21 के अपने बजट भाषण में इस योजना को प्रारंभ करने की घोषणा की थी। इसके लिए राज्य सरकार द्वारा 5 करोड़ 80 लाख रूपए का बजट प्रावधान भी किया गया है। फोर्टिफाईड चावल का वितरण सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत उचित मूल्य के दुकानों से किया जाएगा।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि फोर्टिफाईस राइस वितरण योजना से एनीमिया एवं कुपोषण को दूर करने में मिलेगी। फोर्टिफाईड राईस में आयरन, विटामिन बी-12 तथा फोलिक एसिड युक्त फोर्टिफाईड राईस करनेल (एफआरके) का मिश्रण होता है, जो लोगों को खुराक में आवश्यक पोष्टिक तत्वों की पूर्ति के साथ ही कुपोषण और एनिमिया के नियंत्रण में काफी मददगार साबित होगा। इसके सेवन से शरीर में खून की कमी दूर होगी और भू्रण विकास तथा नर्वस सिस्टम को सामान्य बनाने में मदद मिलेगी। इस राईस का वितरण कोण्डागांव जिले में सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) और अन्य कल्याणकारी योजनाओं के तहत किया जाएगा। इस राईस का भारतीय खाद्य सुरक्षा मानक प्राधिकरण (एफएसएसआई) द्वारा निर्धारित मापदण्ड अनुसार वितरण किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने इस योजना के तहत वितरित होने वाले फोर्टिफाईड चावल के सेवन के लिए महिलाओं एवं बच्चों को प्रेरित एवं प्रोत्साहित करने की बात कही। इस मौके पर उन्होंने योजना का व्यापक प्रचार-प्रसार करने के साथ ही कोण्डागांव जिले के हरका छेपड़ा की राशन दुकान की महिला उपभोक्ताओं से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से चर्चा की तथा इसका लाभ उठाने का आव्हान किया।

खाद्य विभाग के सचिव डॉ. कुलप्रीत सिंह ने कहा कि कोण्डागांव जिले मेें पीडीएस एवं अन्य कल्याणकारी योजनाओं के तहत समस्त चावल को फोर्टिफाईड कर वितरित किया जाएगा। फोर्टिफाईड राईस तैयार करने लिए दो राईस मिल को राईस ब्लेडिंग कार्य सौंपा गया है। कोण्डागंाव जिले में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत एक लाख 11 हजार 217 राशनकार्ड तथा राज्य योजना के तहत 23 हजार 204 राशनकार्ड इस तरह कुल एक लाख 34 हजार 421 राशनकार्ड प्रचलित है। इस जिले में चांवल का कुल वार्षिक आबंटन 60 हजार 188 टन है जिसमें पीडीएस चांवल का 55 हजार 68 टन है और कल्याणकारी योजना, मध्यान्ह भोजन, पूरक पोषण आहार आदि योजनाओं का वार्षिक आबंटन 5 हजार 120 टन है। इस योजना को अगले चरण में राज्य के अन्य जिलों में भी लागू किया जाएगा।