राकेश चतुर्वेदी, भोपाल। क्या कोई निजी अस्पताल या संस्थान सरकार से बड़ा हो सकता है ? यह सवाल इसलिए कि सरकार के नाक के नीचे चल रहे एक अस्पताल ने सरकारी आदेश को मानने से साफ इंकार कर दिया है। बात हो रही है राजधानी के चिरायु मेडिकल कॉलेज एंड हास्पिटल की।

राजधानी के चिरायु अस्पताल ने एक बार फिर सरकारी आदेश को दरकिनार करते हुए आयुष्मान कार्ड से इलाज करने से इंकार कर दिया है। अस्पताल प्रबंधन ने मरीजों के परिजनों से इलाज के लिए लाखों रुपये जमा करवाया है। ऐसे मरीजों की संख्या दर्जन भर से ज्यादा है। सभी प्रभावित लोगों ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से गुहार लगाई है।

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चिरायु अस्पताल की इस मनमानी के खिलाफ संघ के पूर्व प्रचारक और बीजेपी नेता चेतन भार्गव ने मोर्चा खोल दिया है। चेतन भार्गव ने कलेक्टर से इस मामले की शिकायत की है। उन्होंने कहा कि चिरायु अस्पताल मनमानी कर रहा है। लोगों का आयुष्मान कार्ड से उपचार नहीं हुआ तो सीएम से इसकी शिकायत करेंगे।

चिरायु अस्पताल की इसी मनमानी और मरीजों के परिजनों से दुर्व्यवहार के मामले की शिकायत आरटीआई और सामाजिक कार्यकर्ता अजय पाटीदार ने पीएमओ से की ह

आपको बता दें सूबे की भाजपा सरकार के मुखिया शिवराज सिंह चौहान ने आयुष्मान योजना के तहत कार्ड धारियों के निशुल्क कोरोना इलाज का आदेश दिया था। आदेश के अगले ही दिन सरकार ने अपनी पीठ भी थपथपाई थी कि 24 घंटे के भीतर सैकड़ों लोगों को विभिन्न निजी अस्पतालों में भर्ती कर निशुल्क इलाज शुरु कर दिया गया है।

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