मनोज यादव, कोरबा। छत्तीसगढ़ कोरबा जिले से एक बड़ी खबर सामने आई है। पूर्व मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता जयसिंह अग्रवाल को सोशल मीडिया पर एक पोस्ट को लेकर कलेक्टर अजीत वसंत ने नोटिस जारी किया है। उन्हें यह नोटिस फेसबुक पर एक पोस्ट साझा करने को लेकर दी गई है। नोटिस में उन्हें पोस्ट डिलीट करने के निर्देश भी दिए गए हैं। कलेक्टर ने उक्त पोस्ट को दुर्भावनापूर्ण तरीके से प्रचारित-प्रसारित करना बताया है।

क्या है पूरा मामला?

14 जुलाई 2025 को जयसिंह अग्रवाल ने अपने फेसबुक अकाउंट से एक तस्वीर साझा की थी, जिसमें ननकीराम कंवर खड़े नजर आ रहे हैं, जबकि कलेक्टर अजीत वसंत और राज्यपाल रमेन डेका बैठे हुए दिख रहे हैं। इस पोस्ट में जयसिंह अग्रवाल ने लिखा कि छत्तीसगढ़ के वरिष्ठतम आदिवासी नेता का अपमान बहुत ही कष्टप्रद है। छत्तीसगढ़ के वरिष्ठतम आदिवासी नेता, पूर्व मंत्री ननकीराम कंवर खड़े हैं, जबकि राज्यपाल रमेन डेका के साथ कलेक्टर अजीत बसंत बैठे हुए हैं। यह जान और सुनकर अत्यंत पीड़ा हुई।

कलेक्टर ने पोस्ट डिलीट करने के दिए निर्देश

जयसिंह अग्रवाल के इस पोस्ट पर कलेक्टर अजीत वसंत ने आपत्ति जताते हुए इसे दुर्भावनापूर्ण तरीके से प्रचारित-प्रसारित करना बताया है। उन्होंने नोटिस में कहा है कि जयसिंह अग्रवाल द्वारा 14 जुलाई 2025 को फेसबुक पर एक छवि पोस्ट की गई है। उक्त पोस्ट के संबंध में वस्तुस्थिति यह है कि उक्त कक्ष में पूर्व मंत्री ननकी राम कंवर के बैठक के लिए पूर्व निर्धारित व्यवस्था थी। ननकी राम कंवर के कक्ष में प्रवेश करते ही मेरे (कलेक्टर) द्वारा उनका अभिवादन किया गया, जिसकी पुष्टि की जा सकती है। उसके पश्चात् वे अपने लिए निर्धारित स्थान पर बैठे। उक्त तस्वीर तब ली गई है, जब वे ज्ञापन देने के लिए कुछ देर के लिए खड़े हुए थे।

यह स्पष्ट है कि आपके (जयसिंह अग्रवाल) द्वारा उक्त तस्वीर को दुर्भावनापूर्ण तरीके से प्रचारित-प्रसारित किया गया है। आपका यह कृत्य सामाजिक वर्गों के बीच विद्वेष फैलाने की मंशा रखता है। साथ ही शासन और प्रशासन की छवि धूमिल कर आम नागरिकों के मन में असंतोष की भावना को जन्म देने के लिए लक्षित है।

इसलिए आपको निर्देशित किया जाता है कि उक्त पोस्ट को तत्काल डिलीट करें। ऐसा न करने की दशा में आम नागरिकों के मन में शासन और प्रशासन के प्रति असंतोष की भावना उत्पन्न होने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है, जो कि भारतीय न्याय संहिता के अंतर्गत एक दण्डनीय अपराध की श्रेणी में आता है।