शब्बीर अहमद, भोपाल। गोडसे भक्त बाबूलाल चौरसिया के कांग्रेस की सदस्यता लेने के बाद शुरू हुआ विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। वहीं दूसरी ओर गोडसे को लेकर हिंदू महासभा लगातार प्रदर्शन कर रही है। हिंदू महासभा अब गोडसे यात्रा निकालने जा रही है। 14 मार्च को गोडसे यात्रा सड़क मार्ग से दिल्ली के लिए रवाना होगी। रास्ते में गोडसे के विचारों और उनके इतिहास से युवाओं को परिचित कराया जाएगा। दिल्ली पहुंचकर हिमस कार्यकर्ता प्रदर्शन करेंगे। वहीं प्रशासन ने यात्रा को परमिशन देने से सिरे से इंकार कर दिया है। बावजूद इसके महासभा यात्रा निकालने पर आमदा है।

अखिल भारत हिन्दू महासभा 14 मार्च को गोडसे यात्रा निकालने जा रही है, जो ग्वालियर में हिन्दू महासभा के कार्यालय दौलतगंज से शुरू होगी और सड़क मार्ग से होते हुए दिल्ली में हिन्दू महासभा भवन मंदिर मार्ग पर राष्ट्रीय नेताओं के सानिध्य में पूर्ण होगी। यात्रा के माध्यम से नाथूराम गोडसे के बारे में लोगों को बताया जाएगा। पूरे रास्ते गोडसे के ज्ञान को बांटा जाएगा। ग्वालियर में हिंदू महासभा के कार्यालय में हुई बैठक में लिया गया है। बैठक में यह भी निर्णय लिया गया है कि हिंदू महासभा की गोडसे यात्रा निकालने का मकसद सिर्फ इतना है कि लोग गोडसे के बारे में जाने। क्योंकि अभी तक लोग उनके सही साहित्य से अनजान हैं।

नहीं निकलने देंगे यात्रा- कलेक्टर

हाल ही में अखिल भारत हिन्दू महासभा नेता व गोडसे भक्त बाबूलाल चौरसिया को कांग्रेस में शामिल करने पर हिन्दू महासभा ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, राहुल गांधी, मध्य प्रदेश कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष कमल नाथ को पत्र लिखा था। जिसमें कहा गया था कि वह कांग्रेस का नाम बदलकर गोडसे वादी कांग्रेस रख लें। जिसका जवाब अभी तक नहीं मिला इसलिए हिन्दू महासभा दिल्ली जाकर प्रदर्शन करेगी। वहीं हिन्दू महासभा ने एलान कर दिया है। साथ ही ये कहा है कि यात्रा की अनुमति मांगी गयी है मिली तो ठीक नहीं मिले, तब भी हम तो यात्रा निकालेंगे। वहीं कलेक्टर का कहना है किसी भी सूरत में यात्रा नही निकलेंगी।

गोडसे ज्ञानशाला को कराया था बंद

वैसे तो हिंदू महासभा हमेशा से गोडसे को लेकर चर्चा में रहती है। चाहे वह गोडसे मंदिर हो, गोडसे की ज्ञान शाला हो। इस बार चर्चा महासभा नेता व गोडसे भक्त बाबूलाल चौरसिया का कांग्रेस में जाना है। बहरहाल हिंदू महासभा के तेवर देख जिला प्रशासन और पुलिस भी लगातार उनकी हर हरकत पर नजर रखे है। प्रशासन को आशंका है कि गोडसे यात्रा से माहौल खराब हो सकता है। इससे पहले भी गोडसे मंदिर की स्थापना, गोडसे की ज्ञान शाला बनने के बाद प्रशासन ने उसे बंद कराया था।