रायपुर। प्रदेश के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल डॉ भीमराव अंबेडकर में आक्सीजन की कमी से 4 बच्चों की मौत होने के बावजूद लापरवाहियों का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। अस्पताल का आक्सीजन प्लांट किसी प्रशिक्षित आपरेटर के भरोसे नहीं बल्कि अभी भी एक चौकीदार के भरोसे चल रहा है। जिसका खुलासा कांग्रेस के चिकित्सा प्रकोष्ठ की जांच में हुआ है।

मंगलवार को 4 नवजातों की मौत के मामले में कांग्रेस चिकित्सा प्रकोष्ठ ने जांच शुरु कर दी है। कांग्रेस का जांच दल जब अंबेडकर के आक्सीजन प्लांट पहुंचा तो वहां कोई भी आपरेटन ड्यूटी में मौजूद नहीं था बल्कि उन्हें वहां ड्यूटी में  आपरेटर की जगह नकुल नाम का एक कर्मचारी मिला जो कि आपरेटर का कार्य कर रहा था। जिससे पूछताछ में पता चला कि वह अस्पताल में चौकीदार है। जांच के दौरान लल्लूराम डॉट कॉम की टीम भी मौके पर मौजूद थी।

जांच में इस बात का भी खुलासा हुआ कि आक्सीजन प्लांट में मात्र 5 कर्मचारी ही नियुक्त हैं जबकि वहां 10 प्रशिक्षित कर्मचारियों को नियुक्त किया जाना चाहिए था।