दिल्ली। केंद्र की मोदी सरकार एक और ऐसा कदम उठाने जा रही है। जिसका देशभर में तगड़ा विरोध होने की उम्मीद है।
अब मोदी सरकार की नजर किसानों को मिलने वाली बिजली सब्सिडी पर टेढ़ी हो गई है। दरअसल, कई राज्य किसानों को खेती में लागत कम लगे इसके लिए किसानों को बिजली बिल में सब्सिडी देते हैं। पंजाब, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा समेत कई राज्य अपने किसानों को कृषि कार्यों के लिए बेहद मामूली कीमत पर बिजली उपलब्ध कराते हैं। अब सरकार का कहना है कि किसानों को मुफ्त बिजली देने से बिजली कंपनियों का घाटा लगातार बढ़ता जा रहा है।
अब सरकार ने किसानों को सब्सिडी वाली बिजली देने के बजाय अपनी नई प्रस्तावित बिजली नीति में इसके दुरूपयोग रोकने के लिए किसानों को डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर यानि डीबीटी के जरिए बिजली सब्सिडी देने का सुझाव दिया है। उधर किसानों का कहना है कि इस तरह धीरे-धीरे सरकार उनकी सब्सिडी खत्म कर देगी। इससे किसानों का कृषि घाटा बढ़ जाएगा। इस वजह से किसान सरकार की नई बिजली नीति का विरोध कर रहे हैं। किसान इसके विरोध में 5 नवंबर को देशभर में चक्का जाम करेंगे और 26 व 27 नवंबर को दिल्ली का घेराव करने की तैयारी कर रहे हैं।