सतीश दुबे, डबरा (ग्वालियर)। मध्य प्रदेश के ग्वालियर जिले के डबरा में 5वीं और 8वीं के छात्रों का निराशाजनक रिजल्ट आया है। बच्चों के खराब परिणाम से परिजनों में काफी रोष है। आज सभी छात्रों के परिजनों ने आज बड़ी संख्या में बीआरसी कार्यालय का घेराव कर रिजल्ट में सुधार की मांग की है। उनका आरोप है कि बच्चों को कुछ पढ़ाया ही नहीं गया है, इसलिए उनके खराब नंबर आए हैं।  

दरअसल डबरा में संचालित शासकीय और प्राइवेट स्कूलों में 5वीं और 8वीं के छात्रों को गणित, इंग्लिश समेत अन्य विषयों में सप्लीमेंट्री मिली है। किसी छात्र को शून्य तो किसी को एक नंबर दिया गया है। परिजनों का आरोप है कि प्राइवेट स्कूल संचालकों ने छात्रों और उनके परिजनों को गुमराह कर बीआरसी कार्यालय भेज दिया और कहा कि रिजल्ट खराब आया है। एमपी बोर्ड इसका जिम्मेदार है। जबकि असल बात यह है कि स्कूल में बच्चों को कुछ पढ़ाया ही नहीं गया। जिसके चलते परीक्षा परिणाम संतोषजनक नहीं मिले। 

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प्राइवेट स्कूल संचालकों की बातों में आकर बड़ी संख्या में छात्र और उनके परिजन बीआरसी कार्यालय पहुंच गए। जब बच्चों से BRC विवेक चोकोटिया ने सप्लीमेंट्री से संबंधित विषयों पर सवाल पूछे तो छात्र कोई जवाब तक नहीं दे पाए। जिसके बाद परिजनों को भी समझ आ गया कि सिर्फ उनसे मोटी रकम फीस के नाम पर प्राइवेट स्कूल संचालक ने वसूली है और बच्चो को कुछ पढ़ाया ही नहीं गया, जिससे वह पेपर में कुछ लिख पाए। अब छात्रों के परिजनों में स्कूल प्रबंधन के प्रति रोष नजर आ रहा है।

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IAS स्कूल में 5वीं कक्षा में पढ़ने वाली छात्रा अनुष्का साहू ने बताया कि EVS और गणित विषय में उन्हें सप्लीमेंट्री मिला है। उन्होंने बताया कि पेपर थोड़ा कठिन था, फिर भी उन्होंने पूरा किया लेकिन नंबर नहीं मिले। वहीं 5वीं क्लास के छात्र नमन वर्मा की मां दीप्ति वर्मा ने बताया की मेरा बेटा प्रिटी पैटल्स स्कूल में पढ़ता है। इंग्लिश और EVS में उसके शून्य नंबर आए हे जबकि उसने अच्छी तरह से तैयारी की थी और पेपर भी पूरा लिखा था। वहीं अब BRC ने डबरा क्षेत्र में छात्रों के बिगड़े हुए रिजल्ट को लेकर सप्लीमेंट्री में फेल हुए सभी छात्रों को फॉर्म जमा कर दोबारा पेपर दिलाने की बात कही है।

BRC विवेक चोकोटिया ने कहा कि बच्चों के फेल होने में पढ़ाई न होना लापरवाही है। बोर्ड परीक्षा थी इसलिए कड़ाई बरती गई है। पालकों ने बताया कि मूल्यांकन के दौरान कोई लापरवाही हुई है। क्या दिक्कत रही है कॉपी देखने के बाद मालूम चलेगा। पुनर्मूल्यांकन किया गया है इसलिए रिजल्ट में ज्यादा संशोधन होने की आशंका नहीं है।

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