रमेश सिन्हा, पिथौरा. स्थानीय वन परिक्षेत्र अन्तर्गत ग्राम खैरखुंटा में रविवार की रात अपने घर के बाड़े में हार्वेस्टर से कटाये गए धान ढेरी की चौकीदारी करते एक कृषक को अचानक पहुंचे एक विशाल काय हाथी ने पटक पटक कर मार डाला. ग्रामीणों को घटना की जानकारी सुबह मिली. मृतक का नाम नकुल प्रधान पिता कृष्ण चंद प्रधान (62) बताया जा रहा है. घटना के बाद पहुचे वन विभाग ने मृतक परिवार को 25000 की तात्कालिक आर्थिक सहायता दे कर अपने कर्तव्यों की इतिश्री कर ली है. पुलिस मृतक का पंचनामा करवा कर शव के पोस्टमॉर्टम की तैयारी में जुटी है.


क्षेत्र में हाथियों द्वारा कॉरिडोर बनाने के बाद इनके रहवास या इनके उत्पात से बचाने वन विभाग लगातार असफल रहा है. क्षेत्र में हाथियों के आगमन व इनसे खतरे की कोई जानकारी वन विभाग द्वारा ग्रामीणों को नही दिए जाने के कारण लगातार ग्रामीण हाथियों के हमलो से हताहत हो रहे है. वह विभाग के कार्यो से लगता है कि इन्हें मात्र हाथियों से हताहत लोगों को तात्कालिक सहायता देकर मुआवजा प्रकरण बनाने के लिए ही पदस्थ किया गया है.

रविवार की घटना में ग्राम खैरखूँटा के मुहाने पर मृतक वृद्ध नकुल प्रधान अपने घर के बाजू में ही अपने बाड़े में हार्वेस्टर से कल ही कटाये धान की सुरक्षा करता आराम से घर के बाहर ही लेटा था. इस बीच रात कोई 1 से 2 बजे के बीच खैरखूँटा के जंगलों में कोई सप्ताह भर से डेरा जमाए एक विशालकाय हाथी नकुल के बाड़े के पास आ धमका. नुमान के अनुसार नकुल को भागने का मौका ही नही मिला और हाथी ने उसे पटक पटक कर मार डाला.

वन विभाग नहीं लगा पाया रेडियों कॉलर

जंगली क्षेत्र में रहने वाले हाथियों में वन विभाग अभी तक रेडियों कॉलर नहीं लगा पाया. जिसके कारण हाथी जंगल से निकल आते है. जंगल से निकले हाथी ग्रामीण क्षेत्रों मे जमकर उत्पात मचाते है. ग्रामीण क्षेत्र में लगातार हाथियों की चहल कदमी यहा अपना कॉरिडोर बना चुके है. क्षेत्र छोड़ने के मूड में नहीं है.इसे देखते हुए ही शासन द्वारा करोड़ो की लागत से प्रशिक्षित हाथी कुनकी बुलाये गए परन्तु ये हाथी भी विभाग के सफेद हाथी साबित हुए.

क्षेत्र का वन अमला कितना लापरवाह है इसकी जानकारी उच्च अफसरों को भी है. बावजूद इसके मैदानी अमले को आखिर अलर्ट क्यों नहीं किया जा रहा है उच्च अफसरों के इस रवैये ने अब अनेक संदेहों को जन्म दे दिया है.पिथोरा परिक्षेत्र अधिकारी जे के गंडेचा ने बताया कि वन्य प्राणियों के हमले से हताहत लोगो को कुल 4 लाख देने का प्रावधान है.इसमें 25000 रुपये तात्कालिक सहायता दी गयी है.शेष राशि प्रकरण की जांच के बाद दिए जायेगा.