सुरेश पाण्डेय, सिंगरौली। जिले में आज वन विभाग से जुड़ा मामला एक बार फिर गरमा गया, जब वन कर्मचारियों ने रैली निकालकर कार्यवाहक वनपाल सुशील कुमार बुनकर के समर्थन में जोरदार प्रदर्शन किया। वन कर्मचारी संघ जिला सिंगरौली का कहना है कि सोशल मीडिया पर सुशील बुनकर के खिलाफ झूठे और भ्रामक आरोप फैलाए जा रहे हैं, जिससे उनकी छवि धूमिल करने की कोशिश की जा रही है।

वन कर्मचारी संघ ने साफ शब्दों में कहा है कि सुशील बुनकर एक ईमानदार और कर्तव्यनिष्ठ कर्मचारी हैं, जिन्हें कई बार प्रशस्ति प्रमाण पत्र भी मिल चुके हैं। वन कर्मचारी संघ ने मांग की है कि बिना निष्पक्ष जांच के उनके खिलाफ कोई भी कार्रवाई न की जाए और झूठे आरोप लगाने वालों पर तत्काल कठोर कार्रवाई हो। संघ ने चेतावनी दी है कि यदि जल्दबाजी में कोई कार्रवाई की गई, तो वे उग्र आंदोलन करेंगे, जिसकी पूरी जिम्मेदारी शासन-प्रशासन की होगी। 

इस दौरान वन कर्मचारी संघ के संभागीय अध्यक्ष ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि स्थानीय स्तर पर कुछ कांग्रेस पार्टी के नेता आदिवासियों से जंगल की जमीन पर कब्जा करवाने का दबाव बनाते हैं और मना करने पर विवाद की स्थिति पैदा की जाती है। इससे जुड़ा एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। पूरा मामला लालजी बैगा से कथित मारपीट से जुड़ा है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि सुशील बुनकर ने चौकी में बैठाकर उनके साथ मारपीट की। 

हालांकि, वन कर्मचारी संघ ने इन आरोपों को निराधार बताते हुए निष्पक्ष जांच की मांग की है। संघ के पदाधिकारियों ने कलेक्टर से यह भी मांग की है कि कलेक्टर द्वारा गठित तीन सदस्यीय मेडिकल रिपोर्ट टीम में शामिल गंगा वैश्य को हटाया जाए और किसी अन्य शासकीय डॉक्टर से मेडिकल रिपोर्ट की पुनः जांच कराई जाए। अब इस मामले में मेडिकल रिपोर्ट के बाद प्रशासन क्या कदम उठाता है, इस पर सभी की नजरें टिकी हुई हैं।

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