सत्या राजपूत, रायपुर। बस्तर ओलंपिक का आज भव्य समापन समारोह आयोजित किया गया, जिसमें भारतीय फुटबॉल टीम के पूर्व कप्तान बाईचुंग भूटिया और छत्तीसगढ़ के उपमुख्यमंत्री एवं खेल मंत्री अरुण साव मुख्य अतिथि रहे। समारोह में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने विजेता खिलाड़ियों को सम्मानित किया।

उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि यह ओलंपिक ऐतिहासिक रूप से अत्यंत सफल रहा है। उन्होंने बताया कि विकासखंड स्तर पर लगभग एक लाख, जिलेवार दस हजार और ओलंपिक स्तर पर तीन हज़ार खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया। कुल मिलाकर 3 लाख 91 हज़ार खिलाड़ी बस्तर ओलंपिक में शामिल हुए। उन्होंने कहा कि इस आयोजन का उद्देश्य बस्तर के युवाओं को खेल के माध्यम से मंच प्रदान करना और उनकी प्रतिभा को राष्ट्रीय स्तर पर उजागर करना था।

समारोह के शुभारंभ में पद्मश्री मैरीकॉम ने खिलाड़ियों को उत्साहित किया, जबकि समापन में बाईचुंग भूटिया ने उन्हें अपने अनुभव साझा करते हुए खेल की महत्ता और अनुशासन की अहमियत बताई। भूटिया ने कहा कि बस्तर ओलंपिक ने क्षेत्रीय खिलाड़ियों में खेल के प्रति उत्साह और आत्मविश्वास बढ़ाया है। उन्होंने बस्तर के उत्कृष्ट खेल अकादमियों को आमंत्रित किया और खिलाड़ियों के भविष्य में उनकी प्रतिभा निखारने के लिए सहयोग देने की बात कही।
पूर्व कप्तान ने यह भी बताया कि उन्होंने बस्तर में नक्सलवाद के कारण पिछले संघर्षों की कहानियां सुनी थीं, लेकिन वहां आकर खिलाड़ियों में उत्साह और सकारात्मक बदलाव देख कर बेहद प्रसन्नता हुई। उन्होंने कहा कि अब यहां के कुछ पूर्व नक्सली खेल के माध्यम से अपनी ताकत और क्षमता दिखा रहे हैं।
भूटिया ने खेल के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि खेल में भेदभाव नहीं होता, सभी समान होते हैं और यह युवाओं के विकास का एक महत्वपूर्ण संकेतक है। उन्होंने खिलाड़ियों से अपने जीवन में अनुशासन, मेहनत और समर्पण के अनुभव साझा किए, ताकि युवा खिलाड़ी खेल के माध्यम से न केवल शारीरिक बल्कि मानसिक रूप से भी सशक्त बनें।
बस्तर ओलंपिक ने इस क्षेत्र के युवाओं में खेल के प्रति नई ऊर्जा और आत्मविश्वास जगाने का काम किया है। अधिकारियों ने बताया कि खेल प्रतिभाओं का चयन कर उन्हें आगे की प्रतियोगिताओं और राष्ट्रीय स्तर के टूर्नामेंट में भाग लेने का अवसर दिया जाएगा।
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