रायपुर. छत्तीसगढ़ की जीवनदायनी महानदी सहित गोदावरी और नर्मदा नदी रिवर बेसिन के जीर्णोद्धार के लिए शनिवार को नवा रायपुर के अरण्य भवन में उच्च स्तरीय बैठक आयोजित की गई. छत्तीसगढ़ के प्रधान मुख्य वन संरक्षक राकेश चतुर्वेदी की अध्यक्षता में आयोजित इस परामर्श बैठक में वानिकी हस्तक्षेप मद के तहत रिवर बेसिन जीर्णोद्धार कार्य के संबंध में विस्तार से चर्चा हुई.

वन उत्पादकता संस्थान (आईसीएफआरई) के तत्वावधान में पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय नई दिल्ली, राष्ट्रीय वनीकरण और पर्यावरण विकास बोर्ड नई दिल्ली तथा राज्य शासन के वन विभाग के सहयोग से आयोजित इस बैठक में जीर्णोद्धार की कार्ययोजना तय करने के लिए विस्तृत परियोजना प्रतिवेदन (डीपीआर) पर विचार-विमर्श कर डीपीआर को अंतिम रूप दिया गया.

परामर्श बैठक का आयोजन वानिकी, कृषि और अन्य भूमि प्रकार के लिए तैयार किए गए विभिन्न कार्यों और मॉडलों को भी प्रदर्शित किया गया. जिनके आधार पर नदियों के वानिकी कार्य के माध्यम से जीर्णोद्धार की परिकल्पना की गई है. बैठक में निदेशक, आईएफआर रांची, आईएफबी हैदराबाद, टीएफआरआई जबलपुर और वन विभाग के क्षेत्रीय अधिकारी उपस्थित थे.