रायपुर। विधायक बृहस्पति सिंह के मुद्दे पर सदन की कार्यवाही दोबारा शुरू होते ही विपक्ष ने फिर हंगामा शुरू कर दिया. बीजेपी सदस्यों ने पीड़ित पक्ष को सदन में सुनने की मांग की. आखिरकार हो-हंगामे के बीच सदन की कार्यवाही भोजन अवकाश के लिए दोपहर 3 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई.
आसंदी ने पूर्व मुख्यमंत्री डॉक्टर रमन सिंह से पूछा कि आप 15 वर्षों तक मुख्यमंत्री रहे हैं, क्या एक पक्ष को सुनकर निर्णय लिया जा सकता है. इस पर डॉक्टर रमन सिंह ने कहा कि ये मामला अलग है, ये विशिष्ट मामला है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि सदन के सदस्यों की सुरक्षा की पूरी ज़िम्मेदारी सरकार की है. इसमें कोई कोताही नहीं बरती जाएगी. विपक्षी सदस्य परंपरा की बात करते हैं, लेकिन ये कौन सी परंपरा है कि आसंदी के निर्देश के बाद भी सुना नहीं जा रहा है, ये कौन सी परंपरा है कि एक सदस्य कुछ कह रहा है तो बाक़ी सभी सदस्य खड़े हुए हैं.
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जेसीसी विधायक धर्मजीत सिंह ने कहा कि यहां यह कहा जा रहा है कि अख़बारों के कतरन के आधार पर चर्चा नहीं हो सकती, लेकिन इसी सदन में कतरनों पर चर्चा हुई है. ये मुद्दा अब सिर्फ़ राज्य का नहीं रहा, राष्ट्रीय स्तर का हो गया है, ऐसे में विपक्ष की मांग पर विचार किया जाए.
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