इटावा. कथावाचक मामले में सपा के राज्यसभा सांसद रामजीलाल सुमन का बयान सामने आया है. ऐटा पहुंचे सांसद ने प्रेसवार्ता में कहा कि कोई यादव वर्सेस ब्राह्मण वाला मामला नहीं है. यह वह लोग हैं जो मनु स्मृति में विश्वास रखते हैं. किसी के पास हुनर है योग्यता है क्षमता है वह भागवत पढ़ना जनता है उसे धर्मग्रंथों के बारे में जानकारी है उसकी जाति कोई हो तो क्या उसे वंचित कर देंगे. यह विशुद्ध रूप से गुण दोष का मामला है जाति का मामला नहीं है.
सुमन ने कथा वाचकों की ओर से पहचान छुपाने पर कहा कि आपको किसने अधिकार दे दिया उन्हें पीटने का, उन्होंने पहचान भी छुपा ली और कथा वाचन का कार्य कर रहे हैं. आपने इसीलिए ही तो उन्हें मारा की वह यादव हैं. क्या गुनाह हो गया कोई बाल्मीकि है कोई दलित है और वह विद्वान है तो आप उसे कैसे रोक लेंगे. भूख प्यास बेबसी लाचारी गरीबी यह राजनीति के जो मुद्दे हैं वह राजनीति से गायब हैं. उनका स्थान जाति और धर्म ने ले लिया है. हम जातिगत और धार्मिक राजनीति के सख्त खिलाफ है.
इसे भी पढ़ें : खाक छान रही पुलिस! प्रतापगढ़ में दबंगों के हौसले बुलंद, खाकी का डर खत्म, दिन दहाड़े घर घुसकर दंपति से की लूट, मारपीट भी की
रामजीलाल सुमने 9 जुलाई को एटा में पार्टी पदाधिकारी संग दलित और पिछड़ों को न्याय दिलाने के लिए धरने का ऐलान किया है. उन्होंने कहा जिन जगहों पर दलित और पिछड़ों के साथ अन्याय हो रहा है और प्रशासन सुनने को तैयार नहीं है इसके खिलाफ वह धरने पर बैठेंगे.
बता दें कि ये वही रामजीलाल सुमन हैं जिन्होंने राणा सांगा को लेकर विवादित टिप्पणी की थी. जिसके बाद से इनका लगातार विरोध हुआ. वहीं अखिलेश यादव और उनकी पार्टी सांसद के पक्ष में थे. अखिलेश ने उनके बयान का विरोध नहीं किया था.
- छत्तीसगढ़ की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- लल्लूराम डॉट कॉम की खबरें English में पढ़ने यहां क्लिक करें
- मनोरंजन की बड़ी खबरें पढ़ने के लिए करें क्लिक