निशांत राजपूत, सिवनी। मध्य प्रदेश के सिवनी जिले में करीब साढ़े 6 साल पहले कान्हीवाड़ा थाना अंतर्गत दो पक्षों में जमकर विवाद हुआ था. जिसके बाद ग्राम पंचायत के सरपंच अशोक पटले और उसके भाई ज्ञानी पटले की धारदार हथियार से हत्या कर दी गई थी. इस दोहरे हत्याकांड के 16 आरोपियों को कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. वहीं, सबूत छुपाने और आरोपियों को हथियार मुहैय्या करने के जुर्म में आरोपी विनोद पंचेश्वर को 3 साल की सजा सुनाई गई है.
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बता दें कि करीब साढ़े 6 पहले अशोक पटले और उसका भाई ज्ञानसिंह पटले, अपने दोस्तों के साथ बस स्टैंड मेहरा पिपरिया में चाय पीते हुए बातचीत कर रहे थे. तभी आरोपी महानंद पटले अपने साथियों को लेकर वहां पहुंचा और कट्टे से हवा में फायर करते हुए अपने साथियों के साथ मिलकर अशोक और उसके भाई पर तलवार और लोहे की रॉड से हमला कर दिया था. जिससे उनकी मौत हो गई थी. शासन की ओर से कोर्ट में सबूत और गवाहों को लोक अभियोजक चंद्रशेखर ठाकुर के द्वारा प्रस्तुत किया गया था. कोर्ट ने लोक अभियोजक के तर्कों से सहमत होते हुए 16 आरोपियों को धारा 307 में 10 साल और धारा 302 में आजीवन कारावास की सजा सुनाई है.
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