दिल्ली. भारत और रूस के बीच 19वें शिखर सम्मेलन के लिए रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन गुरुवार को अपनी दो दिवसीय यात्रा पर दिल्ली पहुंच गए हैं. उनका स्वागत विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने किया. आज दोनों देशों के बीच 10 अरब डॉलर से ज्यादा के सौदे पर बातचीत होने की संभावना है.

पुतिन के इस भारत दौरे पर मोदी सरकार तीन रूसी मिग-21 लड़ाकू विमानों को अपने पुराने दोस्त रूस को ही भेंट करने जा रही है. इसमें एक टाइप 75 और दो टाइप 77 एयरक्राफ्ट शामिल हैं. भारतीय रंगों से सजे यह तीन फाइटर प्लेन मास्को पहुंचेंगे.

गौरतलब है कि राष्ट्रपति पुतिन अपनी भारत यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी के साथ वार्षिक भारत-रूस शिखर सम्मेलन में हिस्सा ले रहे हैं. इस यात्रा में अरसे से लंबित एस-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम सौदे पर समझौता होना संभव बताया जा रहा है.इसका करार पांच अरब डॉलर की राशि से ज्यादा का होगा. ऐसा माना जा रहा है कि इस खरीद से अमेरिका के काउंटरिंग अमेरिका एडवर्सरीज थ्रू सेक्शन एक्ट का उल्लंघन होगा, लेकिन भारत पहले से ही अमेरिका को मनाने में लगा है.

बता दें कि इस शिखर सम्मेलन में 10 अरब डॉलर से ज्यादा के सौदे पर बातचीत हो सकती है. इनमें छिपी संभावना और क्षमता की बदौलत रूसी हथियारों के लिए कम से कम दो और दशकों तक भारतीय दरवाजे खुले रहेंगे.

रक्षा सूत्रों के अनुसार एस-400 मिसाइल के अलावा 2 अरब डॉलर में एक और अकुला क्लास की परमाणु शक्ति संपन्न हमलावर पनडुब्बी की लीज, कृवाक के चार युद्धपोत के लिए 2 अरब डॉलर का सौदा, 200 से ज्यादा केए-226 लाइट यूटिलिटी हेलिकॉप्टर, जो हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड के साथ संयुक्त उद्यम में रशियन हेलिकॉपटर्स द्वारा बनाए जाने हैं.

इसके अलावा, भारतीय सेना के लिए 6,00,000 से ज्यादा एके-103 असॉल्ट राइफलों के निर्माण के लाइसेंस के लिए सरकार से सरकार के बीच एक सौदे पर भी बातचीत होगी. इसके बाद नंबर आता है दो आइएल-78 विमानों के ऑर्डर का. साथ ही भारत अपने नष्ट होते विमान बेड़े की भरपाई के लिए रूस को कुछ और एसयू-30 विमानों का भी ऑर्डर दे सकता है.