हेमंत शर्मा, इंदौर। इंदौर कोर्ट में पेशी के दौरान पुलिस हिरासत से भागने वाले आरोपी को एक साल की सश्रम सजा सुनाई गई है। यह फैसला कोर्ट ने 15 साल पुराने मामले में सुनाते हुए आरोपी को दोषी ठहराया है। प्रभारी उपनिदेशक अभियोजन राजेंद्र सिंह भदौरिया ने बताया कि न्यायालय ऐका सोनी, न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी ने परदेशीपुरा का रहने वाला आरोपी गुड्डू उर्फ विकास को धारा 224 आईपीसी के तहत एक साल का सश्रम कारावास और 2 हजार रुपये के जुर्माने से दंडित किया है।

क्या था पूरा मामला?

घटना 16 अप्रैल 2010 की है। इंदौर सेंट्रल जेल से 103 बंदियों को जिला कोर्ट में पेशी के लिए लाया गया था। सभी कैदियों को कोर्ट में पेश किया जा रहा था। इसी दौरान आरोपी गुड्डू उर्फ विकास को भी पेशी के बाद कोर्ट बंदीगृह वापस लाया जा रहा था। तभी उसने पुलिस को चकमा देकर बंदी गृह से भागने की कोशिश की। जैसे ही पुलिस को इसकी जानकारी मिली, मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने उसका पीछा किया और करीब एक घंटे की मशक्कत के बाद आरोपी को पकड़ लिया गया। इसके बाद आरोपी को थाना एमजी रोड ले जाकर उसके खिलाफ पुलिस हिरासत से भागने का मामला दर्ज किया गया।

अदालत ने क्या माना?

मामले की सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी रेणु मंडलोई ने मजबूती से पक्ष रखा। गवाहों के बयान और सबूतों के आधार पर अदालत ने आरोपी को दोषी माना और सजा सुनाई।

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