चांपा. जिले में हुई बहुचर्चित डकैती कांड का खुलासा बिलासपुर रेंज के आई जी पुरुषोत्तम गौतम ने किया. आरोपियों से 21 लाख नगद के साथ माउजर और ज़िंदा कारतूस बरामद किया गया है. दरअसल जांजगीर चांपा जिले में 26 नवम्बर को चांपा के सेफ राईटर केश कलेक्सन कम्पनी, जो की शासकीय शराब दुकानों से कैश कलेक्शन का काम करती है के ऑफिस में 5 अज्ञात नकाब पोश लुटेरों ने बन्दुक की नोक पर 63 लाख की लुट की थी. जिसके बाद से जांजगीर पुलिस लगातार आरोपियो की तलाश कर रही थी. जिस पर आज पुलिस विभाग द्वारा खुलासा कर 8 में से 5 आरोपियों को गिरफ़्तार कर उनके पास से 21 लाख रु नगद सहित लाखो रु का सामान बरामद कर लिया है. वहीं घटना में शामिल तीन फरार आरोपियों की तलाश की जा रही है.
पुलिस महानिरिक्षक पुरुषोत्तम गौतम ने प्रेस कॉन्फ्रेंस लेकर मामले का खुलासा किया. उन्होंने बताया कि घटना में कोरबा के ढाबा संचालक हाजी मेमन प्राइम सस्पेक्ट के रूप में सामने आया जिसके बाद पुलिस ने हाजी मेमन से घटना के संबंध में पूछताछ शुरू की पूछताछ में हाजी मेमन ने घटना में सम्मिलित होना स्वीकार किया साथ ही कोरबा के जामा मस्जिद का इमाम मोहर्रम अली उर्फ खुश्तर रब्बानी इस पूरी डकैती का मास्टरमाइंड और सूत्रधार होना बताया.
हाजी मेमन के बताये अनुसार इमाम के घर में छापामार कार्रवाई की गई एवं इमाम को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई इमाम ने घटना में शामिल होना और साधन मुहैया कराना स्वीकार किया. पूछताछ में इमाम मोहर्रम ने बताया कि हाजी मेमन अक्सर मस्जिद आया करता था जिसके बाद से दोनों के बीच घनिष्ठा बड़ी और एक दिन दोनों ने डकैती का प्लान बनाया. इसी बीच हाजी मेमन को चांपा के राइटर कैश कलेक्शन सेंटर मैं इकट्ठा होने वाले पैसे की जानकारी मिली. जिसके बाद से हाजी मेमन ने राइटर कैश कलेक्शन की रेकी करना शुरू कर दिया और मौके की तलाश करने लगा.
वही इमाम बिहार का रहने वाला था और कई अपराधिक तत्व के लोगों से संपर्क भी था. इसलिए इमाम ने हाजी मेमन को घटना में शामिल अपराधियों से मिलने के लिए बिहार भेजा. इसके बाद से हाजी मेंमन ने घटना को अंजाम देने के लिए बिहार के बांका जिला के निवासी, मोहम्मद सिद्दीकी, सद्दाम, मोहम्मद कुनैन, हीरा खान, प्रेम चौधरी एवं धनबाद निवासी मोहम्मद शहजाद उर्फ बाबू से संपर्क किया.
28- 29 अक्टूबर को सभी घटना को अंजाम देने की तैयारी करने चांपा पहुंचे और घटना को अंजाम देने के बाद भागने वाले रास्तों की पहचान की. इसके बाद सभी इमाम के घर कोरबा गए और रात में डकैती की योजना बनाई. योजना में उपयोग में लाए जाने वाली गाड़ियों की व्यवस्था के लिए इमाम ने भरोसा दिलाया कि सभी व्यवस्था वह कर लेगा साथ ही घटना को अंजाम देने के लिए कट्टा और कारतूस भी अपने पास होने की बात कही |योजना में इमाम ने बताया कि शनिवार और रविवार को कलेक्शन का पैसा बैंक बंद होने की वजह से ज्यादा इकट्ठा रहता है इसलिए 19 नवंबर का दिन तय हुआ जिसके लिए सभी चांपा पहुंचे भी थे मगर राइटर कैश कलेक्शन कंपनी के आसपास चहल-पहल ज्यादा होने के कारण उस दिन घटना को अंजाम नहीं दे पाए. जिसके बाद 26 नवंबर का दिन तय कर सभी आरोपी हथियार और कारतूस कोरबा में इमाम के घर छोड़ कर बिहार लौट गए.
26 नवंबर को मोहम्मद सिद्दीकी और बाबू अपने सभी साथियों के साथ हावड़ा मुंबई मेल से सुबह 7:30 बजे के करीब चांपा पहुंचकर इमाम के घर कोरबा गए वहां रुके खाना खाकर आराम किए. फिर शाम को हांजी मेमन की मोटरसाइकिल तथा एक चोरी की मोटर साइकिल के साथ हथियार सहित सभी आरोपी चांपा पहुंचे और घटना को अंजाम देकर कोरबा की ओर भाग निकले. जिसके बाद आरोपियों ने कोठारी के जंगल में रुक कर रात बिताई और सुबह होते ही इमाम के घर पहुंच गए. जहां रुपयों का हिसाब किताब और बंदर बांट किया गया. जिसके बाद इमाम द्वारा किराए के बोलेरो की व्यवस्था की गई. जिसमें बिहार से आये आरोपियों को बैठाकर अंबिकापुर रवाना किया गया. जहां से फिर आरोपीयो ने वाहन बदलकर बिहार निकल गए. इमाम और हाजी मेमन से पूछताछ के दौरान प्राप्त जानकारी पर दो टीमें अलग-अलग राज्यों में बिहार एवं झारखंड के लिए रवाना की गयी. जिस पर राजेश मिश्रा की टीम द्वारा प्रेम चौधरी और सद्दाम को पकड़ा गया. जिनसे पूछताछ के बाद सामान और रुपए मौके से जप्त की गई.
वही घटना में शामिल बाबू को धनबाद के मित्तल कॉलोनी वासेपुर से पकड़ा गया. जिसके पास से पूछताछ पर रुपए और वस्तुएं मौके से जप्त की गयी. मामले में शामिल आरोपी मोहम्मद सिद्दीकी ,हीरा खान और मोहम्मद कुनैन के घर में पुलिस ने दबिश दी. लेकिन तीनो आरोपी फरार हो गये. जिनकी पतासाजी अभी भी एक टीम बिहार मैं रुककर कर रही है.
फ़िलहाल गिरफ्तार सभी आरोपियों से पूछताछ के बाद घटना को अंजाम देने की बात स्वीकार की है. जिसके बाद पुलिस ने सभी गिरफ्तार आरोपियों को न्यायालय में पेश कर उन्हें रिमांड पर लिया गया है.