पुरुषोत्तम पात्र, गरियाबन्द। जिला पंचायत सीईओ ने पदभार ग्रहण करने के दूसरे दिन ही बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया. कृषि विभाग के साथ साँठ-गांठ कर सरपंचों ने पुराने कुंआ को नया कार्य बता कर मनरेगा योजना का लाखों रुपए डकार लिया था. जिला सीईओ ने सामाजिक अंकेक्षण से खुलासा के बाद मैनपुर जनपद के 24 पंचायतों से 48 लाख 79 हजार 980 रुपए वसूली के निर्देश जारी किया.

जिला पंचायत में 2017 बैच के आईएएस चन्द्रकांत वर्मा ने दो दिन पहले ही सीईओ का प्रभार लिया है. आते ही उन्होंने मैनपुर जनपद के 24 ग्राम पंचायतों से 48 लाख 79 हजार वसूली के निर्देश जारी किया है. चन्द्रकांत वर्मा ने कहा कि मामले में जिस भी विभाग के कर्मचारी की संलिप्ता पाई जाएगी, उनसे भी वसूली किया जाएगा. राशि जमा नहीं करने पर एक पक्षीय कार्रवाई की जाएगी.

कैसे लगाया शासन को चूना

मनरेगा योजना के तहत कृषि विभाग के निगरानी में चयनित हितग्राहियों के खेतों में कुंआ खोदना था. मटेरियल का भुगतान व निर्माण में मस्टररोल भरने का काम पंचायत का था. लेकिन इसमें नए की बजाए पुराने कुंआ को नया काम बता दिया गया. छत्तीसगढ़ सामाजिक अंकेक्षण इकाई ने मैनपुर में आयोजित निकासी बैठक में कूप निर्माण कार्यों में अनिमियतता पाते हुए राशि वसूलने की अनुशंसा की थी.

इन पंचायतों से की जा रही वसूली

जिन पंचायतों से राशि वसूल की जानी है, उनमें ग्राम पंचायत गोढि़यारी, कोकड़ी, अडगड़ी, गरहाडीह, सरईपानी, साल्हेभाठा, केकराजोर, मदागमुड़ा, गौरगांव, भैसमुडी, भूतबेड़ा, कुल्हाडीघाट, हरदीभाठा, गुरजीभाठा (अ), सगड़ा, गोना, जाडापदर, दबनई, मैनपुरकला, जिडार, बोइरगांव, गोपालपुर, डुमाघाट और सरनाबाहल शामिल है, जहां कूप निर्माण में गड़बड़ी की गई. इसके अलावा ग्राम पंचायत बिरीघाट में कुक्कुट आश्रय निर्माण कार्य में अनियमितता पाये जाने पर 15 हजार रुपए वसूली के निर्देश परियोजना प्रबंधक सह उपसंचालक कृषि विभाग को दिया गया है.