भोपाल। मध्य प्रदेश के 31 जिलों में इस वर्ष ग्रीष्मकालीन मूंग की बंपर पैदावार हुई है. पिछले वर्ष की तुलना में इस बार किसानों की पंजीयन संख्या भी बढ़ी है, तो दूसरी ओर मूंग बोने का हेक्टेयर रकवा भी बढ़ा है. कृषि मंत्री कमल पटेल ने बताया कि 31 जिलों के अंदर इस वर्ष लगभग 2 लाख 75 हजार 664 किसानों ने 7 लाख 58 हजार 605 हेक्टेयर में मूंग की फसल का पंजीयन कराया है. पिछले वर्ष की तुलना में 26% अधिक रकवे में मूंग की फसल किसानों ने बोई है. उन्होंने बताया कि किसान 1 हेक्टेयर में एक लाख की फसल ले रहा है. जिससे किसानों की आय कई गुना बढ़ी है, किसान संपन्न हो रहा है.
कृषि मंत्री ने बताया कि पूरे देश में जितना मूंग पैदा होता है. उसमें से 40% मूंग की पैदावार मध्यप्रदेश में हो रही है. पिछले वर्ष मूंग फसल का समर्थन मूल्य खरीदी का रेट ₹7275 क्विंटल था, जबकि मंडी और बाजार में 5 से 6000 क्विंटल के दर से किसान से खरीदी की जा रही थी. मंडी और बाजार में किसान ने समर्थन मूल्य पर अपनी फसल को न बेचते हुए सरकार को अपनी फसल बेची थी, तब भी किसान को उसकी फसल का वाजिब दाम मिला था.
मंत्री पटेल ने कहा कि इस बार सरकार ने मूंग फसल की खरीदी को लेकर घोषणा की है कि जून माह से किसानों से समर्थन मूल्य पर सरकार खरीदी करेगी. जिससे परिणाम हुआ कि इस बार मंडी और बाजार में किसान को उसकी फसल का प्रति क्विंटल रेट ₹8000 तक मिलने लगा. इस बार सरकार 12 जून से मूंग की फसल का समर्थन मूल्य पर खरीदी करने जा रही हैं. मध्यप्रदेश में किसानों की आय दोगुनी होने पर मैं किसानों की और उससे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह का हृदय से धन्यवाद देते हुए आभार व्यक्त करता हूं.
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