प्रमोद निर्मल, मोहला-मानपुर। जिले में बीते 10 दिनों के भीतर जंगली जानवरों की आमद ने जहां ग्रामीणों के बीच खौफ का माहौल बना दिया है, वहीं वन महकमा भी अलर्ट मोड पर आ गया है। जिले के उत्तरी हिस्से अंबागढ़ चौकी विकासखंड में तेंदुए ने आतंक मचा रखा है, तो दक्षिणी भाग मानपुर विकासखंड में दंतैल हाथी उत्पात व दहशत का पर्याय बना हुआ है। वहीं डीएफओ दिनेश पटेल ने तेंदुए और दंतैल हाथी की आमद की पुष्टि करते हुए कहा है कि जिले में वन्य जीवों की चहलकदमी यहां के जंगलों के लिए अच्छी खबर है, लेकिन आम जन और जंगली जानवरों के बीच दूरी बनी रहे ताकि ये वन्य प्राणी हिंसक होकर जान-माल का नुकसान न करें।

गौरतलब है कि जिले के अंबागढ़ चौकी और मोहला वन्य क्षेत्र में 10 दिनों के दरम्यान अलग-अलग दिनों में ग्राम आटरा, मेरेगांव, पांगरी तथा कोड़ेमरा में तेंदुआ आ घुसा। इस दौरान तेंदुए ने बछड़ों और मुर्गियों को अपना शिकार बनाया। इसी तरह मानपुर वन क्षेत्र में एक दंतैल हाथी महाराष्ट्र से दाखिल हो गया, जो बस्तर की ओर रवाना होने के बाद दोबारा बस्तर से मानपुर क्षेत्र में लौट आया। हालांकि अब यह हाथी पुनः महाराष्ट्र लौट चुका है, लेकिन वापसी के दौरान उक्त हाथी ने मानपुर ब्लॉक के कोरचा और ऊंचापुर क्षेत्र में बस्ती में घुसकर एक ग्रामीण के निर्माणाधीन मकान को तोड़ दिया। वहीं खेतों में उसके विचरण से फसलें भी प्रभावित हुई।

इधर जिले के डीएफओ दिनेश पटेल ने पुष्टि की है कि बीते 10 दिनों में जिले के चार गांवों में तेंदुए की आमद हुई है, जिसने बछड़ों और मुर्गियों को शिकार बनाया। इसी बीच एक दंतैल हाथी ने भी यहां पहुंचकर मकान को क्षतिग्रस्त किया है।

डीएफओ के मुताबिक, अनुकूल वातावरण का निर्माण होना और शिकारियों पर वन विभाग की सख्ती ने वन्य प्राणियों को मोहला-मानपुर जिले के जंगलों में रहने के लिए आकर्षित किया है। इन जानवरों की चहलकदमी जिला के जंगल के लिए अच्छी बात है, लेकिन ग्रामीणों को जंगली जानवरों को बिना छेड़े उनसे दुर रहकर खुद की सुरक्षा सुनिश्चित करने की जरूरत है। डीएफओ के यह भी कहा कि वन अमला पूरी तरह अलर्ट है और वन विभाग द्वारा सुरक्षात्मक उपाय भी किए जा रहे हैं।