पटना। मोकामा के चर्चित दुलारचंद यादव हत्याकांड में अब तक का सबसे बड़ा खुलासा सामने आया है। पोस्टमार्टम करने वाली मेडिकल टीम ने अपनी प्रारंभिक जांच में कहा है कि दुलारचंद यादव की मौत गोली लगने से नहीं हुई। डॉक्टरों के अनुसार उनके पैर में गोली जरूर लगी थी, लेकिन वह चोट जानलेवा नहीं थी। इस रिपोर्ट के सामने आने के बाद पूरा मामला अब एक नए मोड़ पर पहुंच गया है।
मेडिकल टीम का खुलासा
दुलारचंद यादव के शव का पोस्टमार्टम तीन डॉक्टरों की टीम ने किया था, जिसमें डॉ. अजय कुमार भी शामिल थे। उन्होंने मीडिया से बातचीत में बताया कि मृतक के एंकल जॉइंट (टखने) के पास गोली लगी थी, जो आर-पार निकल गई।
डॉ. अजय के अनुसार इस प्रकार की चोट से मृत्यु संभव नहीं होती। उन्होंने कहा कि मृतक के शरीर पर कई और चोटों और खरोंचों के निशान पाए गए हैं जो इस ओर इशारा करते हैं कि उनके साथ संभवतः शारीरिक झड़प या हिंसक हमला हुआ था।
शव का कराया गया था एक्स- रे
डॉ. अजय ने आगे बताया कि पोस्टमार्टम से पहले शव का एक्स-रे कराया गया था और अब टीम विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर रही है। उनका कहना है कि शुरुआती निष्कर्षों के अनुसार मौत का कारण गोली नहीं, बल्कि किसी अन्य चोट या आंतरिक क्षति से जुड़ा हो सकता है।
तीन FIR, दो गिरफ्तारियां
पटना ग्रामीण एसपी विक्रम सहाग ने बताया कि इस पूरे मामले में अब तक तीन अलग-अलग एफआईआर दर्ज की गई हैं। पहली FIR मृतक दुलारचंद यादव के पोते ने दर्ज कराई है, जिसमें अनंत सिंह समेत पांच लोगों को आरोपी बनाया गया है। दूसरी FIR अनंत सिंह के पक्ष से दी गई है, जिसमें छह लोगों के नाम शामिल हैं। तीसरी FIR पुलिस ने स्वयं दर्ज की है, जो वीडियो फुटेज और घटनास्थल के साक्ष्यों के आधार पर की गई है।
दो आरोपियों को किया गया गिरफ्तार
एसपी ने बताया कि जांच के दौरान पुलिस ने दो आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। ये गिरफ्तारियां वीडियो साक्ष्यों की मदद से की गई हैं। बाकी आरोपियों की तलाश में लगातार छापेमारी चल रही है।
क्या है पूरा मामला
मोकामा में चुनाव प्रचार के दौरान जेडीयू प्रत्याशी अनंत सिंह और जन सुराज के उम्मीदवार पीयूष प्रियदर्शी के समर्थकों के बीच हिंसक झड़प हो गई थी। इसी दौरान दुलारचंद यादव की मौत हो गई। घटना के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए हैं। एक वीडियो में दुलारचंद यादव को पत्थर फेंकते हुए भी देखा जा सकता है। उनके परिजनों का आरोप है कि उन्हें गोली मारकर हत्या की गई, जबकि अब मेडिकल रिपोर्ट इस दावे को संदेह के घेरे में ला रही है। रिपोर्ट के अनुसार गोली से हुई चोट से मौत नहीं हो सकती, जिससे अब जांच का पूरा रुख बदल गया है।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट से जांच की दिशा बदली
डॉक्टरों के बयान के बाद पुलिस अब मामले की जांच नए एंगल से कर रही है। अगर गोली जानलेवा नहीं थी, तो सवाल उठता है कि आखिर मौत कैसे हुई? क्या दुलारचंद यादव को मारपीट में गंभीर चोटें लगी थीं? क्या यह राजनीतिक प्रतिद्वंद्विता का परिणाम था? एसपी विक्रम सहाग ने कहा हमारे पास अभी शुरुआती जानकारी है। पोस्टमार्टम की पूरी रिपोर्ट आने के बाद ही यह स्पष्ट होगा कि मौत का असली कारण क्या था। फिलहाल सभी संभावनाओं पर समानांतर जांच चल रही है।
राजनीतिक रंग में रंगा मामला
यह मामला केवल अपराध तक सीमित नहीं रहा बल्कि अब इसका राजनीतिक पहलू भी सामने आ गया है। मोकामा विधानसभा क्षेत्र में पहले से ही राजनीतिक तनातनी रही है। अनंत सिंह और जन सुराज के उम्मीदवारों के बीच हुए इस विवाद ने राज्य की सियासत में भी हलचल मचा दी है। इस वारदात ने आगामी चुनावी समीकरणों को भी प्रभावित किया है। वहीं स्थानीय लोग अब न्याय और निष्पक्ष जांच की मांग कर रहे हैं।
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