कर्ण मिश्रा, ग्वालियर। मध्यप्रदेश के नर्सिंग स्टूडेंट कॉलेजों और ट्रेनिंग वाले हॉस्पिटल में फुटबॉल (Football) खेल कर लौट आते हैं, ऐसी गंभीर टिप्पणी ग्वालियर हाईकोर्ट ने नर्सिंग परीक्षाओं (nursing exams) से जुड़े मामले की सुनवाई के दौरान की है। शुक्रवार को नर्सिंग परीक्षा मामले में अहम सुनवाई हुई। कोर्ट ने सुनवाई के बाद MP में नर्सिंग परीक्षाओं पर रोक बरकरार रखने के निर्देश दिए है। वहीं सुनवाई में सीबीआई ने भी अपनी जांच रिपोर्ट पेश की जिसमें चौंकाने वाला खुलासा हुआ हैं। मामले की अगली सुनवाई 27 जुलाई को होगी।

ग्वालियर हाईकोर्ट (Gwalior High Court) में नर्सिंग परीक्षा से जुड़े मामले में सुनवाई हुई। CBI ने सबसे पहले 364 नर्सिंग कॉलेजों में से 22 सरकारी कॉलेजों की रिपोर्ट कोर्ट में पेश की। जिसे देख कोर्ट भी हैरान रह गया, CBI ने जांच किये गए 22 सरकारी नर्सिंग कॉलेजों की जांच रिपोर्ट में न्यायालय को जानकारी देते हुए बताया कि

  • 22 गवर्नमेंट नर्सिंग कॉलेजो में 50% कॉलेजो में कमियां पाई गई
  • 10 साल और उससे ज्यादा पुराने सरकारी नर्सिंग कॉलेज 33% ही उपयुक्त पाए गए
  • 5 साल और उस से ज्यादा पुराने सरकारी नर्सिंग कॉलेज 67% ही उपयुक्त
  • पिछले 5 साल और उससे कम वाले सरकारी कॉलेजों में 44% ही उपयुक्त पाए गए

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याचिकाकर्ता के अधिवक्ता दिलीप शर्मा ने बताया कि सुनवाई के दौरान कोर्ट ने 22 नर्सिंग कॉलेजों के स्टूडेंट्स की ट्रेनिंग पर भी सवाल खड़े किए है। न्यायालय ने की टिप्पणी करते हुए कहा कि “नर्सिंग कॉलेज अपने स्टूडेंट को जिन हॉस्पिटल में ट्रेनिंग के लिए भेजते हैं उन हॉस्पिटल के पास नर्सिंग स्टूडेंट की ट्रेनिंग से जुड़ा रिकॉर्ड ही नहीं है। ऐसा लगता है कि नर्सिंग स्टूडेंट कॉलेज और ट्रेनिंग वाले हॉस्पिटल में फुटबॉल खेल कर लौट आते हैं” ट्रेनिंग सर्टिफिकेट शायद बेचे जा रहे है”।

इसके साथ ही हाईकोर्ट ने सीबीआई को निर्देश दिए है कि ट्रेनिंग वाले हॉस्पिटल से नोटराइज्ड एफिडेविट में जानकारी मांगी जाए। इसमें बताया जाए कि ट्रेनिंग लेने वाले स्टूडेंट की संख्या क्या रही है और किस सेशन में उन्होंने ट्रेनिंग की है। वहीं जानकारी ना देने वाले हॉस्पिटलों के ऊपर एक्शन लेने की बात भी कोर्ट ने कही है। आगामी 27 जुलाई को CBI अपनी स्टेटस रिपोर्ट पेश करेगी।

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गौरतलब है कि बीती 27 फरवरी को हाईकोर्ट ने नर्सिंग परीक्षाओं पर रोक लगाई थी। Bsc नर्सिंग, Bsc पोस्ट बेसिक, Msc नर्सिंग की परीक्षा पर रोक लगाई थी। मेडिकल यूनिवर्सिटी ने दो नोटिफिकेशन जारी कर सत्र 2019-21 के छात्रों को परीक्षा की अनुमति दी थी।

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