कर्ण मिश्रा, ग्वालियर। ग्वालियर के रेलवे स्टेशन का 462 करोड़ की लागत से कायाकल्प होना है। इसको लेकर स्टेशन कैंपस के बाहर स्टेशन बजरिया में बनी दुकानों की तुड़ाई होनी है। गुरुवार को रेलवे की टीम लाव लश्कर के साथ बजरिया में बने होटल-रेस्टोरेंट को तोड़ने के लिए पहुंची तो हंगामा खड़ा हो गया। व्यापारियों ने बिना नोटिस दिए कार्रवाई करने पर नाराजगी जाहिर की। इस दौरान व्यापारी पक्ष और रेलवे पक्ष के वकील में तीखी बहस भी देखने को मिली।
व्यापारियों का कहना है कि उन्हें कोर्ट से स्टे मिला हुआ है। दुकान तोड़ने से पहले उन्हें कम से कम 7 दिन का लीगल नोटिस मिलना चाहिए, लेकिन रेलवे की ओर से ऐसा नहीं किया गया है, जबकि रेलवे पक्ष के वकील का कहना है कि नियमानुसार कोर्ट से स्टे मिलने की सूचना उनके पास नहीं है। यही कारण है कि कार्रवाई की जानी है। हालांकि व्यापारियों के हंगामे और लीगल नोटिस ना होने की स्थिति में रेलवे की टीम को बेरंग वापस लौटना पड़ा। तब कहीं जाकर हंगामा शांत हुआ।
गौरतलब है कि ग्वालियर रेलवे स्टेशन का विस्तार होना है। इस दौरान स्टेशन की ऐतिहासिक विरासत को सहेजते हुए उसे आज के दौर के हिसाब से तैयार किया जाना है। यही कारण है कि स्टेशन बजरिया सहित आसपास के अन्य इलाकों से अतिक्रमण हटाया जा रहा है।
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