मनोज उपाध्याय, मुरैना। मध्यप्रदेश के मुरैना में जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में रखे सरकारी रिकॉर्ड को दीमक चट कर गए. रिकार्ड शाखा में 42 साल से ज्यादा पुराने रिकॉर्ड रखे गए हैं. वहीं अब रिकॉर्ड शाखा के प्रभारी और जिला शिक्षा अधिकारी एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप मढ़ रहे हैं.

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बता दें कि कक्षा 5वीं और कक्षा 8वीं में पढ़ने वाले हर छात्र और उनकी परीक्षा का रिकॉर्ड जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में रखा जाता है. क्योंकि, 5वीं और 8वीं की अंकसूची कई नौकरियों में काम आती है. मुरैना डीईओ कार्यालय की रिकॉर्ड शाखा में साल 1965 से लेकर 2007 तक का रिकॉर्ड फाइलों और बस्तों में बांधकर रखा गया है. जिसमें दीमक लग गया है. दीमक ने कागजों को मिट्टी में तब्दील कर दिया है. रिकॉर्ड की बदहाली ऐसी है कि कई फाइल को दीमक ने चट करके उनके चिथड़े बिखरा दिए हैं.

स्कूल से लाना पड़ रहा रिकॉर्ड

वहीं देवरी गांव के संजय बघेल की 5वीं की अंकसूची कहीं खो गई. जिसके बाद 15 दिन पहले संजय ने जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में आकर 5वीं की डुप्लीकेट अंकसूची के लिए आवेदन दिया, लेकिन संजय के स्कूल का परीक्षा रजिस्टर, डीईओ कार्यालय के रिकॉर्ड रूम में नहीं मिला. रजिस्टर और अन्य दस्तावेज को दिमक खा गए थे. जिसके बाद इसका खुलासा हुआ. वहीं अब पुराने छात्रों को दस्तावेज जरूरत पड़ने पर भटकना पड़ रहा है.

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वहीं रिकार्ड शाखा के प्रभारी और जिला शिक्षा अधिकारी एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप मढ़ रहे हैं. डीईओ ने इस मामले में बेतुका बयान दिया है. उन्होंने कहा कि कागज की क्वालिटी धीरे-धीरे क्षय होती जाती है. रिकार्ड के संधारण और सुरक्षा का जिम्मा प्रभारी का रहता है, मेरा नहीं. अगर रिकार्ड खराब हो रहा है, तो उसकी जिम्मेदारी रिकॉर्ड शाखा के प्रभारी की है.

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