मनोज उपाध्याय, मुरैना। चंबल संभाग के श्योपुर, मुरैना और भिंड जिले में रेत की 5 खदान खोलने का प्रस्ताव राज्य सरकार ने केंद्र सरकार को भेजा है। अधिकारियों ने बताया कि पांचों खदानें जल्द ही चंबल नदी में खोली जाएंगी। इसका प्रस्ताव राज्य सरकार ने पास कर केंद्र सरकार को भेज दिया है। जल्द ही इसकी एनओसी मिलेगी। वहीं इस पर सिसायत भी शुरू हो गई है।

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भाजपा के सुमावली से पूर्व विधायक गजराज सिंह सिकरवार ने अपनी सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा कि रेत की खदान जहां चयनित की गई है, वहां पर घड़ियाल सबसे ज्यादा पाए जाते हैं और वहीं सरकार और अधिकारी रेत की खदान खोलने की बात कर रहे हैं। इससे एक विशेष राजनेता को फायदा मिलेगा। आम आदमी इस फायदे से दूर रहेगा। इससे जिले में विवाद की स्थिति पैदा होगी और सरकार को राजस्व का भी बड़ा नुकसान होगा। उन्होंने कहा है कि चंबल नदी में रेत की कई खदानें खोली जा सकती हैं, इसके लिए वह भारत सरकार के केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखेंगे। पूर्व विधायक का कहना है कि खदान ऐसी जगह खोली जानी चाहिए, जहां से आम जनता को भी फायदा हो और सरकार को राजस्व मिले, नहीं तो जिले में और बेरोजगारी बढ़ जाएगी, जिससे अपराध भी बढ़ेंगे। गजराज सिंह ने कहा कि राजघाट पर सबसे ज्यादा घड़ियाल पाए जाते हैं और यह पूरा क्षेत्र घरियाल संरक्षित इलाका है इसलिए यहां खदान ना खोली जाए, इसकी जगह जोरा और गुड़ा देवगढ़ में खडदान खोली जा सकती है।

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वहीं कांग्रेस का आरोप है कि इन खदानों से एक विशेष जाति को फायदा मिलेगा। विधायक रविंद्र भिडौसा का कहना है कि चंबल संभाग में कम से कम 20 खदानें रेत की खोलनी चाहिए, जिससे बेरोजगार युवाओं को रोजगार मिलेगा और सरकार को राजस्व भी मिलेगा, लेकिन इस ओर राजनेताओं ने और अधिकारियों ने कोई ध्यान नहीं दिया। जोरा, सुमावली और दिमनी विधानसभा में रेत की कई खदानें खोली जा सकती हैं, लेकिन इस ओर कोई प्रयास नहीं किया गया।

दिमनी से कांग्रेस के विधायक रविंद्र तोमर ने कहा कि वह 5 खदानों से संतुष्ट नहीं हैं, विधायक ने कहा कि मैंने विधानसभा में भी प्रश्न उठाए हैं कि मुरैना जिले में कम से कम 20 रेत की खदान खोली जानी चाहिए, जिससे बेरोजगार युवाओं को रोजगार मिलेगा और सरकार को बढ़ा राजस्व मिलेगा।

वहीं वन विभाग के डीएफओ रामस्वरूप दीक्षित का कहना है कि चंबल नदी से जो अवैध उत्खनन हो रहा है, उसे रोकने के लिए चंबल संभाग में 5 खदानें खोलने का प्रस्ताव राज्य सरकार को भेजा गया। राज्य सरकार से प्रस्ताव पास होकर केंद्र सरकार की ओर जा चुका है। जल्द ही केंद्र से एनओसी मिलगी और चंबल संभाग के तीनों जिलों में खदान चालू हो जाएगी, जिससे लोगों को रोजगार भी मिलेगा और सरकार का राजस्व बढ़ेगा। साथ ही अवैध उत्खनन पर अंकुश भी लग जाएगा।

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