धर्मेंद्र ओझा, भिंड। जिले के ग्राम डांग सरकार में पर्यावरणीय स्वीकृति के लिए लोक जनसुनवाई रखी गई थी. जिसमें एक दर्जन से अधिक लोगों ने शिकवा और शिकायतें की. इसके अलावा एक ग्रामीण ने मीना आदिवासी के नाम से पत्थर खदान स्वीकृत लेकर भी शिकायत की. इस दौरान उसके के हाथ से दबंग ने माइक छुड़ा लिया. जिसके बाद जमकर हंगामा हुआ.

बता दें कि इस सुनवाई एसडीएम पराग जैन, गोहद तहसीलदार, माइनिंग विभाग अधिकारी और प्रदूषण विभाग अधिकारी मौजूद थे. माइक छुड़ाने पर अधिकारियों ने कहा कि आपको अपनी बात रखनी चाहिए किसी का माइक न छुड़ाएं. वहीं गोहद पुलिस ने शिकायतकर्ता लाखन सिंह गुर्जर को जबरदस्ती गाड़ी में बैठा लिया. सब इंस्पेक्टर क कहना था कि इनके खिलाफ हमारे पास वारंट है.

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जबकि जिसके नाम से वारंट था. वह व्यक्ति एक साल पहले ही अपनी जमानत करवा चुका था. यह कहना उचित होगा कि कहीं न कहीं ठेकेदारों की दबंगई के चलते कुछ दबंग और पुलिस अधिकारी भी ठेकेदारों की मदद करते हैं. इधर, स्थानीय लोगों का कहना है कि जिस जगह खदान स्वीकृत की गई है. उसी के साइट से जाने वाला एक रास्ता स्कूल और दूसरा रास्ता हनुमान मंदिर के लिए जाता है.

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ग्रामीणों ने कहा कि ठेकेदारों को ठेका कहीं दूसरी जगह का मिलता है और खुदाई कहीं दूसरी जगह करते हैं. संबंधित अधिकारी हमारी नहीं सुनते हैं. ठेकेदारों के हिसाब से वहां पर अधिकारी कार्य करते हैं. ऐसे में कहीं न कहीं ठेकेदारों के साथ में अधिकारियों का हिस्सा नजर आता है.

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