सुप्रिया पांडे,रायपुर। नवरात्री से पहले मां दुर्गा की मूर्तियों को अंतिम स्वरूप दिए जाने का काम जारी है. मूर्तिकारों ने फरवरी माह से ही मूर्तियां बनाने का काम करीब पूरा कर लिया था. मूर्तिकार कहते हैं कि हर बार जिस तरह से त्यौहार मनाया जाता है. ठीक उसी तैयारी के साथ मूर्तियां तैयार की थी. लेकिन कोरोना महामारी की वजह से मूर्तिकारों को आर्थिक नुकसान का सामना करना पड़ रहा है. हाल ऐसा है कि मूर्तियों के लिए आर्डर दिए गए है, लेकिन प्रतिमा बन जाने के बाद आर्डर देने वाले ही गायब हो गए हैं. अब मूर्तिकारों को केवल जिला प्रशासन के आदेश का इंतजार है. उनका कहना है कि प्रशासन के द्वारा जितने फिट की मूर्तियों को मंजूरी दी जाएगी केवल उन्ही मूर्तियों को अंतिम स्वरूप देने का काम किया जाएगा.

मूर्तिकार पिलू राम साहू का कहना है कि इस बार 16 लाख रुपए की लागत से मूर्तियां तैयार की गई है. 10 हजार रूपए से लेकर डेढ़ लाख रुपए तक की मूर्तियां उनके पास उपलब्ध है. जिला प्रशासन के द्वारा मूर्तियों के संबंध में जो गाइडलाइन जारी की जाएगी. उन मूर्तियों को अंतिम स्वरूप प्रदान किया जाएगा. फिर भी इस बार काफी ज्यादा नुकसान का सामना करना पड़ रहा है. गणेश चतुर्थी के समय में भी प्रशासन द्वारा जारी गाइडलाइन के अनुरूप ही प्रतिमाओं को अंतिम स्वरूप प्रदान किया गया था लेकिन बाकी जो प्रतिमाएं थी उन्हें अगले वर्ष के लिए संभाल कर रखा जाएगा. यह कहा नहीं जा सकता कि अगले साल तक प्रतिमाएं सुरक्षित रहेंगी. वही हाल नवरात्री का भी होगा. कुछ ऐसे है जिन्होंने मूर्तियों का आर्डर दे दिया है. लेकिन अब तक फोन भी नहीं किया न ही मूर्ति के संबंध में जानकारी ली. इस वजह से भी ज्यादा मूर्तियां बन गई है. अब ये तो आने वाला समय ही बता पाएगा कि कितनी मूर्तियां बेची जाती है. इस बार हर हाल में नुकसान होना तय है.