शब्बीर अहमद, भोपाल। मध्य प्रदेश में अचानक मौसम के बदलने से किसानों की साल भर की मेहनत बर्बाद हो गई है। मौसम की बेरुखी ने अन्नदाताओं के माथे पर बल ला दिया है। वहीं अब इस मुद्दे पर विपक्ष ने सरकार को घेरना शुरू कर दिया है। नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने शासन पर आरोप लगाया कि किसान की फसल बर्बाद होने के बाद उनके खेतों का सर्वे नहीं किया जा रहा और न ही मुआवजा दिया जा रहा है। सरकार सिर्फ चुनाव प्रचार में व्यस्त है।       

नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सोशल मीडिया एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा, MP में हुई बेमौसम बरसात और ओलावृष्टि ने किसानों की साल भर की मेहनत पर पानी फेर दिया। बड़े पैमाने पर फसलों का नुकसान हुआ, खेतों में खड़ी फसलें जमीन पर बिछ गईं। जिन्हें दोबारा खड़ा नहीं किया जा सकता। खेत-खलिहान में गेहूं की फसल को काफी नुकसान हुआ। गेहूं की फसल को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ। लेकिन, पूरी मध्य प्रदेश सरकार चुनाव प्रचार में व्यस्त है। मुख्यमंत्री ने एक बार भी किसानों के आंसू पोंछने की कोशिश नहीं की। न तो मुआवजे का आश्वासन दिया गया और न नुकसानी का सर्वे। दुःख की इस घड़ी में Congress हर किसान के साथ है। हम BJP सरकार को मजबूर करेंगे कि किसानों की क्षतिपूर्ति की जाए। 

बता दें कि प्रदेश में बीते कुछ दिनों से मौसम की मार से आम आदमी परेशान है। लेकिन मौसम में इस बदलाव का सबसे ज्यादा असर अगर किसी पर हुआ है तो वो हैं अन्नदाता। भारी बारिश और ओले गिरने की वजह से किसानों की अधिकांश फसल खराब हो गई है। बचे हुए कुछ फसलों की कटाई की गई लेकिन इस बार उनकी गुणवत्ता अच्छी नहीं रही। वहीं फसल खराब होने का असर बाजारों में भी देखने को मिल रहा है। गेहूं समेत अन्य फसलों के दाम में भारी वृद्धि देखने को मिल रही है जिससे आम इंसान के खर्च बढ़ गए हैं। 

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