शिखिल ब्यौहार, भोपाल। मध्य प्रदेश में बुधवार को डॉ मोहन यादव ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ग्रहण की है। इसके साथ ही जगदीश देवड़ा और राजेंद्र शुक्ला ने डिप्टी सीएम की शपथ ली। शपथ ग्रहण को लेकर प्रदेश में सियासत शुरू हो गई है। दरअसल, मुख्यमंत्री और डिप्टी सीएम की शपथ तो हुई लेकिन किसी भी मंत्री को शपथ ग्रहण नहीं कराया गया। इसे लेकर भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस के बीच जुबानी जंग छिड़ गई है।

कांग्रेस का आरोप

कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता शहरयार खान ने कहा कि लगभग 9 अक्टूबर से आचार संहिता लगी थी, तब से ही प्रदेश के कामकाज और विकास प्रभावित है। प्रदेश से बड़ा सवाल दो डिप्टी और सीएम कैसे चलाएंगे। बीजेपी की अंदरूनी राजनीति का खामियाजा जनता भुगत रही है। इवेंट की सरकार में जनता त्राहिमाम कर रही है। बीते 2 महीने से अरबों के विकास कार्य रुके। जनता को उम्मीद थी कि नई सरकार से कैबिनेट विस्तार के साथ प्रदेश को गति मिलेगी। काम और डिप्टी सीएम ने समीकरण बिगाड़ दिए। मंत्री पद को लेकर बीजेपी में घमासान मचा हुआ है। अगले 15 दिन भी प्रदेश को मंत्री नहीं मिल पाएंगे।

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बीजेपी का दावा और पलटवार

भारतीय जनता पार्टी के मीडिया प्रभारी आशीष अग्रवाल ने पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की मनो स्थिति खराब है। कांग्रेस कलह से जूझ रही है। आशीष ने कहा कि जल्द कैबिनेट का विस्तार होगा। डबल इंजन की सरकार दोगुनी रफ्तार से काम करेगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी जमीन पर उतरेंगी। कांग्रेस अपनी पार्टी की चिंता करें।

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