करण मिश्रा, ग्वालियर। मध्यप्रदेश में अब कोरोना की तीसरी लहर को लेकर सरकार और स्वास्थ्य विभाग की चिंताएं बढऩे लगी है। इसी कड़ी में ग्वालियर में अब संजीवनी क्लीनिक का क्षेत्र विस्तृत करने पर विचार किया गया है। सरकार द्वारा ग्वालियर के सभी 66 वार्डों में संजीवनी क्लीनिक खोलने की योजना बनाई गई है। शुरुआती दौर में लोगों के सैंपल लिए जाएंगे। उनको डिटेक्ट करने की कोशिश की जाएगी। जिससे कोरोना की चैन को ब्रेक किया जा सके। इसके साथ ही सामान्य स्वास्थ्य सेवाओं से जुडी आवश्यक सेवाओं को भी मुहैया कराई जाएगी।

सरकार की इस कवायद पर कांग्रेस ने सवाल उठाया है। कांग्रेस को यह फिजूलखर्ची लग रही है। कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता सिद्धार्थ राजावत ने पूर्व में संचालित संजीवनी क्लीनिक की अव्यवस्थाओं पर सरकार का ध्यान आकृष्ट कराया है। उनके मुताबिक जो क्लीनिक पहले खोली थी, वह सब बेकार हो गई हैं। ऐसे में केवल कोरोना के नाम पर सरकार लोगों से हवा हवाई बातें कर रही है।

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कांग्रेस के इस बयान पर बीजेपी ने पलटवार किया है। बीजेपी का कहना है कि सरकार आम लोगों के स्वस्थ्य सेवाओं को लेकर सजग है। कांग्रेस के पास सिर्फ आरोप लगाना ही काम बाकी है। पूरा प्रदेश और देश जानता है कि कोरोना के वक्त कांग्रेस कैसे गायब हहो गर्ई थी, जब लोगों को जरूरत थी। इसीलिए कांग्रेस जो सवाल कर रही है, यह उससे ही पूछे जाने चाहिए।