उज्जैन। रामायण सर्किट स्पेशल ट्रेन में वेटरों के यूनिफॉर्म का संतों ने विरोध करना शुरू कर दिया है. संत अवधेश पूरी ने रेल मंत्री अश्विन वैष्णव को पत्र लिखकर ड्रेस का कलर बदलने की मांग की है. उन्होंने ट्रेन में वेटरों का स्वरूप देना संतो का अपमान बताया है. यहां तक ट्रेन रोकने की भी चेतावनी दी है. सोशल मीडिया पर सामने आए VIDEO में संतों की वेशभूषा में वेटर्स जूठे बर्तन उठाते दिख रहे हैं. लोगों को खाना सर्व कर रहे हैं.
उज्जैन के परमहंस डॉ. अवधेशपुरी ने रेल मंत्री अश्विन वैष्णव को पत्र लिखा है. जिसमें कहा है कि केन्द्र में धार्मिक पार्टी यानी भाजपा की सरकार है. देश के यशश्वी प्रधानमंत्री मोदी का संतों के प्रति व हिन्दूधर्म और भगवान राम के प्रति अगाध निष्ठा रखते हैं, लेकिन उनके शासनकाल में और आप के कार्यकाल में ‘रामायण सर्किट एक्सप्रेस’ में साधु-संतों की वेशभूषा में वेटरों द्वारा यात्रियों को भोजन परोसवाना, उनकी झूठ उठाते हुए दिखाना घोर निंदनीय और असहनीय है. शायद आपकी आत्मा भी इस कृत्य को स्वीकार नहीं करेगी.
धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से आईआरसीटीसी की ओर से रामायण सर्किट एक्सप्रेस चलाई जा रही है. ट्रेन 7 नवंबर को प्रारंभ हुई जो कि भगवान राम से जुड़े हुए 15 स्थलों का भ्रमण करते हुए 7,500 किमी की यात्रा तय करेगी. उस ट्रेन में अयोध्या से रामेश्वरम के मध्य का यह दुर्भाग्यपूर्ण वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. वीडियो भगवान श्री राम की श्रद्धा और आस्था के केंद्र साधु संतों का अपमान कर करोड़ हिन्दुओं की आस्था को आहत कर रहा है.
परमहंस डॉ. अवधेशपुरी ने रेल मंत्री से मांग की है कि 12 दिसंबर को शुरू होने वाली दूसरी यात्रा से पूर्व वेटरों की वेशभूषा में परिवर्तन किया जाए. अन्यथा देश के वरिष्ठ साधु संतों को मजबूरन रामभक्तों को साथ लेकर ट्रेन की पटरी पर बैठकर ट्रेन को रोकना पड़ेगा.
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