जांजगीर-चांपा. जिला मुख्यालय को लेकर सक्ती नगर के लोगों ने जिला प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. सक्ती का जिला कार्यालय यहां से 10 किमी दूर बनाने को लेकर नगर सहित आस पास के ग्रामीण क्षेत्र के लोग नाराज हैं. जिला प्रशासन के इस मनमाने फैसले से नगर के सभी समाज, दल, व्यापारी, अधिवक्ता संघ और पत्रकार संघ के द्वारा काली पट्टी लगाकर विरोध किया गया. जिसके बाद सभी ने सक्ती ओएसडी के नाम नायाब तहसीलदार को ज्ञापन सौंपा है.

सक्ती क्षेत्र के लोगों ने मांग पूरी नहीं होने पर दो दिन बाद उग्र आंदोलन की चेतावनी भी दी है. जिसमें धरना प्रदर्शन, नगर बंद, भूख हड़ताल, चक्काजाम तक करने की रणनीति बनाई गई है. इसमें क्षेत्र के सभी वर्ग के लोगों ने अपनी सहमति दी है. बता दें कि करीब 5 महीने पहले 16 दिसंबर को सक्ती क्षेत्र के सभी वर्ग के लोगों ने रायपुर जाकर सक्ती विधायक और विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत से मुलाकात कर जिला मुख्यालय सक्ती के आस पास बनवाने की मांग की थी. जिसपर महंत ने आश्वासन दिया था कि सक्ती जिले का जिला कार्यालय क्षेत्र की जनता के अनुरूप ही बनाया जाएगा. लेकिन गुरुवार शाम कलेक्टर कार्यालय से जारी आदेश ने सभी को हैरत में डाल दिया है. क्षेत्र के लोगों का कहना है कि सक्ती का विकास तभी संभव है जब जिला मुख्यालय सक्ती नगर के आसपास बने.

जेठा में कॉलेज के अधिग्रहण से छात्रों में आक्रोश

अस्थायी जिला मुख्यालय कार्यालय को लेकर जारी आदेश के अनुसार कलेक्टर कार्यालय जेठा ग्राम के शासकीय क्रांति कुमार महाविद्यालय भवन में बनाया जा रहा है. वहीं एसपी कार्यालय के लिए जेठा के ही शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय भवन का अधिग्रहण किया जा रहा है. जिला प्रशासन के इस फैसले से कॉलेज के छात्रों में आक्रोश है. वो अपना कॉलेज भवन छोड़ना नहीं चाहते. छात्रों का कहना है कि पहले ही कोरोना के कारण दो साल से पढ़ाई नहीं हो पाई. अब कॉलेज को ही छीना जा रहा है. जिला प्रशासन को छात्रों की पढ़ाई की कोई चिंता नहीं है.

पर्याप्त शासकीय भूमि होने के बावजूद ये निर्णय क्यों ?

सक्ती को जिला बनाने की घोषणा होने के बाद व्यपारियो के चेहरे में जो खुशियां थी वो अब चिंता में बदल गई है. जेठा में जिला कार्यालय जाने से व्यपारियो को अब अपना व्यापार प्रभावित होता दिख रहा है. क्योंकि पूरा व्यापार जिला मुख्यालय के आसपास चला जाएगा, बाहर से जो लोग यहां शासकीय कार्य के लिए आते थे वो भी सीधे जेठा जाएंगे. सालों से व्यापार में अपना खून पसीना लगाने वाले व्यापारी भी इस फैसले से काफी नाराज हैं. जानकारों की मानें तो सक्ती में सैकड़ो एकड़ शासकीय भूमि है, साथ ही दर्जनों भवन हैं जिसमें सक्ती का जिला कार्यालय बनाया जा सकता है. लेकिन इसके बाद भी जिला मुख्यालय 10 किमी दूर बनाना इसके पीछे बहुत बड़ा राजनीतिक षडयंत्र है.

नेताओं पर लग रहे बड़े आरोप

इसके अलावा नेताओं पर भी गंभीर आरोप लग रहे हैं. बताया जा रहा है कि जेठा के आस पास नेताओ ने बड़ी मात्रा में जमीन खरीदी है, जो जिला मुख्यालय बनने के बाद सोने के भाव हो जाएगी. इन्ही बातों को लेकर स्थानीय नेताओं ने अधिकारियो ओर बड़े नेताओं को जिला मुख्यालय जेठा ले जाने के लिए तैयार किया है.

इसे भी पढ़ें : भेंट-मुलाकात – गितपहर में CM ने लगाई चौपाल, लोगों की सुनीं समस्याएं, कहा – दुग्ध उत्पादक अपनी समिति बना लें, संग्रहण केंद्र बनाकर खरीदी पर विचार करेगी सरकार