Rajasthan News: जयपुर: राजस्थान सरकार ने प्रदेश के पूर्व सैनिकों को शिक्षा विभाग में शिक्षक बनाने के लिए प्रावधान तैयार करने शुरू कर दिए हैं. यह योजना विशेष रूप से उन पूर्व सैनिकों के लिए है जिन्होंने सेवा काल में यूनिट एजुकेशन इंस्ट्रक्टर (यूईआई) के रूप में काम किया है. इसके अतिरिक्त, शहीद वीरांगनाओं और उनके आश्रित परिवारों को शिक्षा विभाग में अनुकंपा नियुक्ति देने के प्रस्ताव पर भी विचार हो रहा है.

राजस्थान के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने संकेत दिए हैं कि योग्यताधारी पूर्व सैनिकों को सरकारी स्कूलों में शिक्षक बनाया जा सकता है. हालांकि, सभी सैनिक शिक्षक नहीं बन सकते हैं क्योंकि शिक्षक बनने के लिए बीएड या एसटीसी की योग्यता आवश्यक है. अधिकतर पूर्व सैनिकों के पास बीएड की डिग्री नहीं होती है, इसलिए उन्हें शिक्षा विभाग में नियुक्ति नहीं मिल पाती. मिलिट्री में जो यूनिट एजुकेशन इंस्ट्रक्टर (यूईआई) होते हैं, उन्हें बीएड या एसटीसी के बराबर मानने की कोशिश की जाएगी, जिससे ऐसे पूर्व सैनिकों को सरकारी स्कूलों में शिक्षक बनने का अवसर मिलेगा.

शहीदों के परिजनों के लिए अनुकंपा नियुक्ति पर भी विचार

शहीदों के परिजनों को मिलिट्री में अनुकंपा नियुक्ति मिलती है, लेकिन जिनका सामान्य निधन हुआ है, उन्हें यह सुविधा नहीं मिलती. ऐसे परिवारों को सहायता प्रदान करने के लिए भी विचार किया जा रहा है. हालांकि, अभी यह तय नहीं किया गया है कि इन्हें शिक्षक ही बनाया जाएगा.

राजस्थान सरकार ने पहले ही विधवा महिलाओं को आरक्षण देने का प्रावधान बना रखा है. इसके साथ ही विभिन्न नौकरियों में भी पूर्व सैनिकों को आरक्षण मिलता है. शिक्षा मंत्री ने यह भी कहा कि पूर्व निर्धारित कोटा के आधार पर नियुक्तियां की जाएंगी.

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