सत्यपाल सिंह राजपूत. राजनांदगांव/रायपुर. राजनांदगांव के 30 ज़्यादा प्रायवेट स्कूल बंद हो गए है. इसमें आरटीई के 1500 गरीब बच्चे पढ़ाई कर रहे थे.
- छत्तीसगढ़ पैरेंट्स एसोसियेशन ने की जांच की मांग
- किन-किन सरकारी स्कूलों में प्रवेश दिलाया गया है इसकी जांच की मांग
- स्कूल बंद होने के साथ ग़रीब विद्यार्थियों की शिक्षा विभाग को नहीं है जानकारी
- 2 करोड़ 34 लाख रूपये के बर्तन ख़रीदी घोटाला की जांच की माँग
- नियम विपरीत अनुकंपा नियुक्ति में भी की गई है जाँच की माँग
- छत्तीसगढ़ पैरेंट्स एसोसियेशन का प्रतिनिधि मंडल नवपदस्थ जिला शिक्षा अधिकारी राजनांदगांव से भेंट कर तीन मांगों पर तत्काल जांच कर कार्रवाई करने की माँग की है.
यह है तीन मांगे
1) जिले में सत्र 2019-2020, 2020-2021 एंव 2021-2022 में लगभग 30 प्रायवेट स्कूल बंद हो गए जिसमें लगभग आरटीई के 1500 गरीब बच्चे अध्ध्यनरत् थे, उन्हे किन-किन सरकारी स्कूलों में प्रवेश दिलाया गया है. इसकी गहन जांच किया जावे.
2) जिले में सत्र 2019-2020 एंव 2020-2021 में सरकारी स्कूलों के लिए लगभग 2 करोड़ 34 लाख रूपये की किचन डिवाईस(बर्तन) खरीदी कर वितरण, किया गया, जो गुवत्ताहीन, और निर्धारित मानको के अनुरूप नही था, इस संबंध में विधान सभा मानसून सत्र 2021 में मिथ्या व भ्रामक जानकारी सदन में प्रस्तुत किया गया, गुणवत्ता प्रमाण पत्र देने वाली कंपनीयों पर कोई कार्यवाही नही किया गया, इसकी गहन जांच किया जावे.
3) तत्कालिक जिला शिक्षा अधिकारी के द्वारा सत्र 2021 में नियम विपरीत अनुकंपा नियुक्ति दिया गया और नियम विपरीत अनुकंपा नियुक्ति आदेश निरस्त किया गया, इस संबंध में विधान सभा के मानसून सत्र 2021 में मिथ्या व भ्रामक जानकारी सदन में प्रस्तुत किया गया, इसकी गहन जांच किया जावे. कलेक्टर राजनांदगांव के द्वारा 11 जून 2021 को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में लगे डीवीआर को जप्त किया गया था, उसे 10 जून को डिलिट करा दिया गया था, डीवीआर से फुटेज रिकवरी कराया जावे