Shani Dhaiya on Scorpio zodiac : वर्तमान समय में देवगुरु बृहस्पति वृषभ राशि में विराजमान हैं. गुरु ग्रह ने 1 मई को वृषभ राशि में प्रवेश कर लिया है और गुरु ग्रह यहां 2025 तक विराजमान रहेंगे. गुरु के राशि परिवर्तन से वृश्चिक राशि के जातकों को विशेष लाभ प्राप्त होगा. वृश्चिक राशि एवं वृश्चिक लग्न के लोगों के लिए देवगुरु बृहस्पति द्वितीय अर्थात धन भाव पंचम अर्थात संतान भाव के कारक होकर सप्तम भाव में गोचर आरंभ करेंगे.

वृश्चिक राशि एवं लग्न के लिए बृहस्पति परम शुभकारक ग्रह माने जाते हैं. ऐसे में वृष राशि में बृहस्पति का गोचर सकारात्मक परिवर्तन वाला साबित होगा:-

  • साझेदारी के कार्यों में सतर्क होकर कार्य करें तो बेहतर सफलता प्राप्त होगी. धन संबंधित कार्यों में सकारात्मक परिवर्तन.
  • पारिवारिक कार्यों में वृद्धि का योग बनेगा. व्यापार में विस्तार का योग बनेगा. धन वृद्धि के साथ-साथ नए उद्योग लगाने में सफलता प्राप्त होगी.
  • बौद्धिक क्षमता के आधार पर कार्यों में सफलता प्राप्त होगी. अध्ययन अध्यापन में सकारात्मक परिवर्तन आएगा.
  • संतान पक्ष से शुभ समाचार प्राप्त होगा. डिग्री के लिए समय अनुकूल रहेगा.
  • बौद्धिक क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए समय सकारात्मक प्रगति वाला होगा.
  • लेखन क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए समय अनुकूल रहेगा.
  • बृहस्पति की पंचम दृष्टि लाभ भाव कन्या राशि पर होगा. फल स्वरुप आर्थिक गतिविधियों में व्यापक विस्तार का संयोग बनेगा.
  • व्यापार में वृद्धि का योग बनेगा. अचानक धन लाभ की प्राप्ति का योग बनेगा.
  • पैतृक संपत्ति के लाभ का योग बन सकता है. शेयर बाजार के क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए समय अनुकूल रहेगा.
  • सट्टा लॉटरी के क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए समय उपलब्धि कारक हो सकता है. अपने अधीनस्थों का सहयोग सानिध्य प्राप्त होगा.
  • बृहस्पति की सप्तम दृष्टि वृश्चिक राशि लग्न अथवा राशि भाव पर होगी. ऐसे में व्यक्तित्व में निखार आएगा. बौद्धिक क्षमता में सुधार आएगा. मनोबल में सकारात्मक वृद्धि होगी.
  • नेतृत्व क्षमता में वृद्धि होगा. बौद्धिक समझदारी में वृद्धि होगा. स्वास्थ्य में सुधार होगा. पुराने अवरोधों से मुक्ति प्राप्त होगी. बृहस्पति की नवम दृष्टि मकर राशि पराक्रम भाव पर होगा.
  • फलतः पराक्रम में वृद्धि. सामाजिक दायरे में वृद्धि. कार्य करने की क्षमता में वृद्धि. भाई बहनों तथा मित्रों के सहयोग में वृद्धि होगा. कार्यों में रुचि बढ़ेगा.

शनि की ढैय्या से मुक्ति मिल जाएगी (Shani Dhaiya on Scorpio zodiac)

ज्योतिष गणना के अनुसार 29 मार्च, 2025 को शनिदेव राशि परिवर्तन करेंगे. इस दिन शनिदेव कुंभ राशि से निकलकर मीन राशि में गोचर करेंगे. इस राशि में शनिदेव कुल मिलाकर ढाई साल तक रहेंगे. इसके बाद मीन राशि से निकलकर मेष राशि में गोचर करेंगे. शनिदेव के राशि परिवर्तन के साथ ही मकर राशि के जातकों को शनि की साढ़े साती से मुक्ति मिल जाएगी. वहीं, वृश्चिक राशि के जातकों को शनि की ढैय्या से मुक्ति मिल जाएगी. 

मंगलवार के दिन हनुमान जी की अवश्य पूजा करें

वृश्चिक राशि के स्वामी मंगल देव हैं और आराध्य मर्यादा पुरोषत्तम भगवान श्रीराम के परम भक्त हनुमान जी हैं. इस राशि के जातकों के लिए शुभ रंग लाल है और शुभ अंक 1 और 8 है. वहीं, शुभ दिन मंगलवार, गुरुवार और रविवार हैं. वृश्चिक राशि के जातक मंगलवार के दिन हनुमान जी की अवश्य पूजा करें. अगर आप रत्न धारण करना चाहते हैं, तो मूंगा रत्न धारण कर सकते हैं. हालांकि, धारण करने से पहले निकटतम ज्योतिष से अवश्य सलाह लें.