यू तो शिवरात्रि हर महीने की चतुर्दशी पर आती है. शिवपुराण के अनुसार, फाल्गुन मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी महाशिवरात्रि कहा गया है. इस बार महाशिवरात्रि 21 फरवरी यानी आज है.
शिवरात्रि का दिन जीवन के यथार्थ को समझने का दिन है. इस दिन आप सिर्फ शिव नाम की स्तुति ही न करें बल्कि शिव के जीवन को समझते हुए उनकी बातों को भी अपने भीतर धारण करें.
शिवरात्रि के दिन आज हम आपको ऐसी कुछ बाते बताने जा रहे है जो आपको शास्त्रों के अनुसार नहीं करनी चाहिए.
सुबह उठकर पौधों में पानी दें
पौराणिक मान्यताओं अनुसार पीपल, तुलसी बरगद का विशेष महत्व है लेकिन इसके साथ ही सभी पेड़-पौधों को प्रकृति का एक रूप भी माना जाता है इसलिए आपको प्रकृति को विशेष रूप से धन्यवाद देना चाहिए. आप सुबह उठकर महादेव नाम का जाप करते हुए पौधों को पानी दें.
इस दिन जानवरों को खाना खिलाएं
आपको ईश्वर ने जो भी दिया है, उसी में से कुछ हिस्सा जानवरों को जरूर खिलाना चाहिए. इससे हमारे जीवन में कुछ अच्छे कर्मों की बढ़ोत्तरी होती है. वहीं किसी के लिए कुछ अच्छा करके आपके जीवन में सकारात्मकता आती है.
काले रंग के वस्त्र न पहनें
इस दिन आपको काले रंग के कपड़े नहीं पहनने चाहिए बल्कि आप पीले, लाल, केसरिया, सफेद रंग के वस्त्र का चुनाव कर सकते हैं क्योंकि ऐसा माना जाता है कि काले रंग के वस्त्र भगवान शिव विनाश के समय पर धारण करते हैं.
दान करें
किसी जरुरतमंद को अन्न के दान को सबसे बड़ा दान माना जाता है. आप किसी गरीब की भूख शांत करने के लिए उसे भोजन भी करा सकते हैं. अपने सामर्थ्य अनुसार सभी को दान करना चाहिए.
ये भी न करें
- महाशिवरात्रि के दिन मास या मदिरा नहीं लेना या खाना चाहिए
- महाशिवरात्रि के दिन देर तक सोना नहीं चाहिए
- महाशिवरात्रि के दिन दाल, चावल या गेहू से बने नहीं खाये. इस दिन आप सिर्फ फल, दूध, चाय और कॉफ़ी ले सकते है.
- कहा जाता है कि इस दिन भगवान शिवलिंग पर चढ़ाया हुआ प्रसाद नहीं खाना चाहिए.