रायपुर। राजधानी में भिक्षावृत्ति पर रोक लगाने के लिए 6-6 सदस्यी 3 टीम गठित की गई है. टीम में महिला एवं बाल विकास, चाईल्ड लाईन, बचपन बचाओ आंदोलन, आभाष एवं पुलिस शामिल हैं. सभी चौक-चौराहों के सिग्नल में हर तीन घंटे में चेकिंग होगी. भिक्षावृत्ति करते पकड़े लोगों का पुनर्वास किया जाएगा. अंतर्राष्ट्रीय बाल श्रम पखवाड़ा में मिले मामलों को देखते हुए फैसला लिया गया.

बाल सुरक्षा एवं विकास अधिकारी नवनीत ने बताया कि अंतर्राष्ट्रीय बाल श्रम पखवाड़ा में उन्मूलन अभियान चलाया गया, जिसमें कई मामले सामने आए, जिसको आधार मानते हुए ये फैसला लिया गया है,  और टीम का गठन किया गया. ये टीम हर तीन घंटे सभी चौक चौराहों, सिग्नलों का निरीक्षण करेंगे.

राजधानी में गठित टीम में 6-6 सदस्यी 3 टीम का गठन किया गया है. टीम में महिला बाल विकास, चाईल्ड लाईन, बचपन बचाओ आंदेलन, आभाष एवं पुलिस शामिल है. वहीं बताया कि निरीक्षण के दौरान भिक्षावृत्ति करते पकड़े गए लोगों को पुर्नवास किया जाएगा. दूसरे राज्य के होने के स्थिति में उन लोगों को उनके राज्य भेजा जाएगा.

बाल सुरक्षा एवं विकास अधिकारी ने बताया कि बाल श्रम पखवाड़ा के दौरान 10 बालक बाल श्रम, दो महिला एवं दो बालक भिक्षावृत्ति करते पकड़े गए थे. जिसमें से एक बिहार, एक झारखंड, आठ छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिले से है. तुसार एग्रो ग्रुप फैक्ट्री सिलतरा से दो बाल श्रम कराते मिले. दोनों असम से है, और वंदना ग्लोबल सिलतरा स्टील प्लांट से बाल श्रम के मामले मिले, इसको लेकर इन कंपनियों को नोटिस भेजा गया है. साथ ही कार्रवाई के लिए श्रम विभाग, एसपी को भी लिखा पत्र लिखा गया है.